स्वतंत्र समय, टिमरनी
नगर परिषद में सत्ताधारियों के खिलाफ ही सत्ता में बैठे पार्षदों ने अपने ही भाजपा नगर परिषद के अध्यक्ष देवेन्द्र भारद्वाज के खिलाफ मोर्चा खोलकर अध्यक्ष की कार्य प्रणाली को लेकर भारी विरोध करते हुए मंगलवार के दोपहर को नगर परिषद कार्यालय में स्थित अध्यक्ष के केविन के बाहर धरने पर बैठ गए और पीआईसी की बैठक में 38 विषयों पर मनमर्जी से बैठक बुलाई जाने के आरोप लगाते हुए बैठक को निरस्त करने की मांग को लेकर कलेक्टर को ज्ञापन सौपा। वही सबसे बड़ी बात तो यह है कि भाजपा की सत्ता होने के बाद भाजपा के ही विधायक प्रतिनिधि और वार्ड पार्षद एवं परिषद के उपाध्यक्ष तथा संगठन के पूर्व महामंत्री जैसे जनप्रतिनिधि को ही अपने परिषद के अध्यक्ष के खिलाफ लाम बंद होना पड़ रहा है। जो एक बड़े ही पार्टी के लिए शर्मनाक बात है जिस पर संगठन को विचार करना चाहिए।
परिषद के पार्षद व नगर परिषद के उपाध्यक्ष ने कलेक्टर को ज्ञापन देकर नगर परिषद अध्यक्ष पर गंभीर आरोप लगाते हुए शहर में बारिश के पूर्व हुई नदी नाले की साफ सफाई एवं गहरीकरण जो की जेसीबी पोकलेन मशीन से कराई गई थी उसमें लाखों के बिल भुगतान किए जाने के गंभीर आरोप लगाते हुए कहा कि 5 दिन पहले ही नगर परिषद के ही कर्मचारी को लेखापाल से सीएमओ का प्रभार नगरी प्रशासन विभाग से दिलवाया गया और तीन दिन बाद ही बिल भुगतान के लिए पीआईसी की बैठक बुला ली गई और बैठक में पुराने बिलों का अनुमोदन किए जाने तथा 38 विषयों पर चर्चा किए जाने को लेकर बैठक मंगलवार की दोपहर 3 बजे रखी गई थी जिसमें पीआईसी के पार्षद के अलावा अन्य वार्ड के पार्षदों को किसी भी विषय और विकास कार्य की जानकारी नहीं है। वहीं भाजपा के पार्षद और संगठन के महामंत्री गुलशन चौरसिया ने अपनी ही परिषद के भाजपा नगर परिषद अध्यक्ष पर आरोप लगाते हुए कहा कि अध्यक्ष जी सिर्फ अपनी मनमर्जी करते हैं और पार्षदों की नहीं सुनते । अपने ही हिसाब से कार्य करते हैं जो कि गलत है हमें भी जनता ने पार्षद चुना है हम जनता को क्या जवाब देंगे इस दौरान भाजपा पार्षद व विधायक प्रतिनिधि सुनील दुबे, परिषद के उपाध्यक्ष जयंत कौशल सुधीर गोर सहित अन्य पार्षद मौजूद रहे।