लगातार बढ़ते ऑनलाइन खतरों को देखते हुए मलेशिया ने बच्चों की डिजिटल सुरक्षा के लिए ऐतिहासिक कदम उठाया है। सरकार ने घोषणा की है कि वर्ष 2026 से 16 वर्ष से कम उम्र के बच्चों को Facebook, Instagram, TikTok और Snapchat जैसे सभी सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म का उपयोग पूरी तरह प्रतिबंधित कर दिया जाएगा। यह कदम नाबालिगों को साइबर बुलिंग, ऑनलाइन शोषण और डिजिटल तनाव से बचाने की दिशा में एक बड़ा बदलाव माना जा रहा है।
सोशल मीडिया बच्चों के लिए क्यों बन रहा था खतरा?
मलेशिया के कम्युनिकेशन मंत्री फहमी फजिल के अनुसार, हाल के वर्षों में बच्चों की मानसिक और भावनात्मक स्थिति पर सोशल मीडिया का नकारात्मक प्रभाव तेजी से बढ़ा है।
- साइबर बुलिंग
- ऑनलाइन हैरेसमेंट
- फेक दोस्ती और एक्सप्लोइटेशन
- मानसिक तनाव और हीनभावना
इन सभी मामलों में बढ़ोतरी दर्ज की गई है।
सरकार का कहना है कि जो उम्र-पुष्टि (Age Verification) सिस्टम मौजूद हैं, वे प्रभावी नहीं हैं और बच्चे आसानी से इन प्लेटफॉर्म्स को इस्तेमाल करने के तरीके खोज लेते हैं। इसी वजह से सरकार ने बच्चों को पूरी तरह सोशल मीडिया से दूर रखने का निर्णय लिया है।
माता-पिता पर भी बढ़ेगी जिम्मेदारी, नियम होंगे और सख्त
- नए कानून में सिर्फ बच्चों पर ही नहीं, बल्कि माता-पिता और अभिभावकों पर भी जिम्मेदारी तय की जाएगी।
- 16 साल से कम उम्र के बच्चे किसी भी सोशल मीडिया अकाउंट का उपयोग नहीं कर सकेंगे।
- माता-पिता पर भी दंड लगेगा यदि वे यह जानते हुए भी बच्चों को सोशल मीडिया उपयोग करने दें।
- टेक कंपनियों को मजबूत उम्र-पहचान तकनीक लागू करनी होगी।
- सरकार का मानना है कि डिजिटल सुरक्षा तभी सफल हो सकती है जब परिवार भी इस अभियान का हिस्सा बने।
वैश्विक डिजिटल सुरक्षा पहल में शामिल हुआ मलेशिया
- मलेशिया का यह कदम उन देशों की पंक्ति में उसे खड़ा करता है जो बच्चों की डिजिटल सुरक्षा पर खास ध्यान दे रहे हैं।
- ऑस्ट्रेलिया 2025 से बच्चों के लिए सोशल मीडिया पर इसी तरह का कड़ा प्रतिबंध लागू कर रहा है।
- मलेशिया भी टेक कंपनियों, शिक्षकों, चाइल्ड सेफ्टी ग्रुप्स और विशेषज्ञों के साथ मिलकर एक मजबूत सुरक्षा ढांचा तैयार कर रहा है।
- नए नियमों के तहत प्लेटफॉर्म्स को उम्र-पहचान टेक्नोलॉजी को सख्ती से लागू करना होगा और सरकार इसके पालन की नियमित निगरानी करेगी।
डिजिटल भविष्य को सुरक्षित बनाने का कदम
मलेशिया सरकार का यह निर्णय सिर्फ सोशल मीडिया प्रतिबंध नहीं, बल्कि एक व्यापक डिजिटल सेफ्टी अभियान का हिस्सा है। इसका उद्देश्य बच्चों को ऑनलाइन दुनिया में सुरक्षित वातावरण देना और माता-पिता को जागरूक बनाना है, ताकि आने वाली पीढ़ी डिजिटल प्लेटफॉर्म्स का उपयोग संतुलित और सुरक्षित तरीके से कर सके।