इंदौर में चाइना डोर ने ली 8वीं के छात्र की जान, फोरेंसिक एक्सपर्ट बोले- ’15 हजार पोस्टमॉर्टम में ऐसा घाव नहीं देखा’

Indore News : इंदौर में पतंग उड़ाने में इस्तेमाल होने वाली प्रतिबंधित चाइना डोर ने एक और जान ले ली। रविवार को रालामंडल बायपास पर हुए एक दर्दनाक हादसे में 8वीं कक्षा के छात्र गुलशन की गर्दन कटने से मौत हो गई।

गुलशन अपने दोस्तों के साथ बाइक से घर लौट रहा था, तभी अचानक यह जानलेवा मांझा उसकी गर्दन में फंस गया और एक गहरे घाव ने उसकी जान ले ली।

यह घटना कनाड़िया थाना क्षेत्र के तेजाजी नगर बायपास पर हुई। गुलशन अपने तीन दोस्तों- अरुण, विशाल और कृष्णा के साथ रालामंडल घूमने गया था। लौटते समय बाइक गुलशन ही चला रहा था। अचानक पतंग की डोर उसकी गर्दन से टकराई और उसका गला बुरी तरह कट गया, जिससे वह लहूलुहान होकर बाइक पर ही गिर पड़ा।

फोरेंसिक एक्सपर्ट भी हैरान, बताया दुर्लभ मामला

इस मामले ने शहर के वरिष्ठ फोरेंसिक विशेषज्ञों को भी चौंका दिया है। 18 सालों में 15,000 से ज्यादा पोस्टमॉर्टम कर चुके और ‘लिम्का बुक ऑफ रिकॉर्ड्स’ में नाम दर्ज करा चुके डॉ. भारत वाजपेयी ने गुलशन के घाव को असाधारण और बेहद दुर्लभ बताया है।

“चाइना डोर बहुत महीन, धारदार और स्टील कोटेड होती है। तेज रफ्तार वाहन पर यह दिखाई नहीं देती और एक ब्लेड की तरह गर्दन को चीर देती है। गुलशन के मामले में डोर का प्रहार सीधा और बहुत तीव्र रहा होगा, जिससे त्वचा, मांसपेशियां, जुगुलर वेन और कैरोटिड आर्टरी तक कट गई। इतनी गहरी चोट में कुछ ही सेकंड में अत्यधिक रक्तस्राव से मौत निश्चित हो जाती है।” — डॉ. भारत वाजपेयी, फोरेंसिक विशेषज्ञ

डॉ. वाजपेयी ने कहा कि हजारों पोस्टमॉर्टम करने के बावजूद उन्होंने चाइना डोर से गर्दन का इतना भयानक कटाव पहले कभी नहीं देखा।

पुलिस को नहीं मिला कोई सुराग

घटना की सूचना मिलते ही एसीपी राजेश बिलवाल मौके पर पहुंचे, लेकिन पुलिस को घटनास्थल से न तो चाइना डोर मिली और न ही पतंग उड़ाने वाले का कोई सुराग मिला। पुलिस ने गुलशन के दोस्तों के बयान दर्ज किए हैं, जिन्होंने बताया कि डोर हटाने की कोशिश में उनकी उंगलियां भी कट गईं।

दोस्तों के मुताबिक, एक कार सवार परिवार ने उनकी मदद की और उन्हें पास के एक निजी अस्पताल ले गए, जहां से उन्हें एमवाय अस्पताल रेफर कर दिया गया। एमवाय अस्पताल में डॉक्टरों ने गुलशन को मृत घोषित कर दिया। टीआई देवेंद्र मरकाम ने बताया कि अभी यह जांच की जा रही है कि डोर चाइना थी या सामान्य पतंग की।

छापेमारी में 150 से ज्यादा चाइना डोर जब्त

इस दर्दनाक घटना के बाद इंदौर पुलिस हरकत में आई। देर रात शहर के कई इलाकों में छापेमारी कर डेढ़ सौ से ज्यादा चाइना डोर के बंडल जब्त किए गए। सूत्रों का दावा है कि प्रतिबंध के बावजूद काछी मोहल्ला, मल्हारगंज, खजराना, रानीपुरा और मालवा मिल जैसे बड़े बाजारों में पुराने स्टॉक से चाइना डोर की बिक्री चोरी-छिपे जारी है।

विशेषज्ञों ने दोपहिया वाहन चालकों को सलाह दी है कि जिन इलाकों में पतंगबाजी होती है, वहां से गुजरते समय गर्दन को लेकर विशेष सावधानी बरतें, क्योंकि साधारण मांझा भी तेज रफ्तार में खतरनाक साबित हो सकता है।