Indore News : इंदौर में कलेक्ट्रेट पर हर मंगलवार को होने वाली जनसुनवाई इस बार मानवता और संवेदनशीलता की एक अनूठी मिसाल बन गई। कलेक्टर शिवम वर्मा के सामने जब एक दिव्यांग शख्स अस्त-व्यस्त हालत में पहुंचा, तो कुछ ही घंटों में उसकी दुनिया बदल गई। उसे न सिर्फ नया रूप और सम्मान मिला, बल्कि सम्मान से जीने के लिए जरूरी साधन भी उपलब्ध कराए गए।

यह मामला इंदौर कलेक्टर कार्यालय में हुई साप्ताहिक जनसुनवाई का है, जहां कलेक्टर शिवम वर्मा लोगों की समस्याओं को सुन रहे थे। इसी दौरान सुनील आहूजा नाम के एक दिव्यांग नागरिक अपनी फरियाद लेकर पहुंचे। उनकी शारीरिक और मानसिक स्थिति ठीक नहीं थी और वे बेहद खराब हालत में थे।
जब कलेक्टर के निर्देश पर मिला नया जीवन
सुनील की हालत देखकर कलेक्टर वर्मा ने तत्काल अधिकारियों को निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि पहले सुनील को सम्मानजनक स्थिति में लाया जाए। इसके बाद सामाजिक न्याय विभाग ने महाकाल ग्रुप के सहयोग से सुनील को नहलाया, उनकी दाढ़ी और बाल कटवाए और उन्हें पहनने के लिए साफ-सुथरे नए कपड़े दिए।

कुछ ही देर में जो व्यक्ति बिखरे हुए हाल में आया था, वह एक आत्मविश्वास से भरे और सजे-संवरे नागरिक के रूप में सबके सामने खड़ा था। इस बदलाव के बाद कलेक्टर वर्मा ने उन्हें एक मोटराइज्ड ट्राइसाइकिल और पेंशन भी स्वीकृत की, ताकि वे सम्मान के साथ अपना जीवन यापन कर सकें।
“जरूरतमंदों की गरिमा और सम्मान की रक्षा करना प्रशासन की सर्वोच्च प्राथमिकता है।” — शिवम वर्मा, कलेक्टर, इंदौर
कलेक्टर ने सामाजिक न्याय विभाग और इस काम में सहयोग करने वाले महाकाल ग्रुप की भी सराहना की।
होनहार छात्रा के सपनों को मिली उड़ान
इसी जनसुनवाई में एक और प्रेरक मामला सामने आया, जब रक्षा रंगानी नाम की एक होनहार छात्रा कलेक्टर से मिली। रक्षा ने बताया कि वह आईआईटी से आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) का कोर्स करना चाहती है, लेकिन परिवार की आर्थिक स्थिति कमजोर होने के कारण वह फीस नहीं भर पा रही है।
