स्वतंत्र समय, शहडोल
मानवता की मिशाल पेश करती यह एक सच्ची घटना जिसमें आज इस हर पल रंग बदलती दुनिया के हर पल समझते रंग रूप में मानवता शब्द जो गायब सा हो गया है इसी मानवता की मिसाल पेश करती यह कहानी है विष्णु राम सोनी की जो की शहडोल नगर के वार्ड क्रमांक 18 का निवासी है।
सोशल मीडिया में एक्टिव रहने वाले जनप्रतिनिधि बने माध्यम
इस कहानी में आपको आज के जमाने में सोशल मीडिया की ताकत और एक संवेदनशील जनप्रतिनिधि कहे या समाजसेवी की तत्परता और समाज सेवा का भी उदाहरण देखने को मिलेगा। विष्णु राम सोनी कम पढ़ा लिखा मानसिक रूप से विक्षिप्त बहुत ही गरीब परिवार का बेटा है,जो कि लगभग डेढ़ महीने पहले अज्ञानता वस भोपाल पहुंच गया भोपाल में बस स्टैंड के आसपास वह घूमता रहता और उसी समय वहां पर भागवत आचार्य पंडित प्रदीप मिश्रा और बागेश्वर सरकार की कथा का आयोजन हुआ जहां से उसे खाना पीना मिल जाता था,उसे आसपास के लोग देखे तो यही सोचते कि शायद यहां पर कथा का आयोजन हुआ है तो यह उनके साथ आ गया होगा। कथा समाप्त होने के पश्चात भी जब विष्णु राम सोनी इस स्थान के आसपास ही घूमता रहा और धीरे-धीरे ठंड भी बढ़ चुकी थी ठंड में ठिठुरते मानसिक रूप से विक्षिप्त विष्णु राम सोनी को भोपाल में ही अयोध्या बाईपास के पास ही शॉप संचालित करने वाली एक महिला जिनका नाम सोनाली जोडे है वो कई दिनों से इस व्यक्ति को देख रही थी, ठंड में ठिठुरते देख सोनाली जोड़े ने इस व्यक्ति को ठंड के कपड़े दरी कंबल आदि सामग्री दी, जिससे ठंड से इसकी सुरक्षा हो सके और हमेशा खाने-पीने की सामग्री भी इसे दे दिया करती थी।
फेसबुक से सर्च कर ढूंढा परिचित का नाम
विष्णुराम से सोनाली जोडेद्वारा बार-बार पूछने पर भी अपने बारे में ना बता पाता, फिर एक दिन उन्होंने एक पेन और कॉपी देकर उससे कहा कि तुम कहां के हो लिखकर बताओ तो उसने बड़ी खऱाब सी राइटिंग में शहडोल लिखा, फिर उन्होंने उससे पूछा की शहडोल में रहने वाले किसी व्यक्ति का नाम जानते हो तो उसने संतोष लोहानी लिखा, फिर क्या था सोनाली जोड़े ने लंदन में रहने वाली अपनी बेटी नेहा जोडे को सारी बातें बताई तब नेहा जोड़े ने फेसबुक में संतोष लोहानी शहडोल सर्च किया और लंदन में रह रहे मध्यप्रदेश के लोगों के एक व्हाट्सएप ्रुन में यह बात लिखकर शेयर की, इसी व्हाट्सएप ग्रुप के सदस्य शहडोल के अभिषेक काबरा ने जब शहडोल से संबंधित बात को सुना तो उन्होंने भी इंटरेस्ट लिया और शहडोल में रह रहे अपने पिताजी को फोन किया और संतोष लोहानी से मिलने की बात कही,और अभिषेक काबरा के पिता रमेश काबरा, संतोष लोहानी से मिले, तब संतोष लोहानी ने 2 अगस्त से गुमशुदा विष्णु राम सोनी की फोटो भोपाल से व्हाट्सएप के माध्यम से मंगाई और फोटो देखते ही वह पहचान गए, क्योंकि जिस वार्ड क्रमांक 18 का विष्णु राम सोनी निवासी है संतोष लोहानी इस वार्ड के पार्षद भी रह चुके हैं,संतोष लोहानी तत्परता के साथ विष्णु राम सोनी के परिवार जनों के पास गए उन्हें फोटो दिखाई और पूरा मामला जाना और उनके परिवार को यहां से भोपाल विष्णु राम सोनी को लेने के लिए भेजा,तो इस तरह से भोपाल निवासी सोनाली जोड़े उनके सहयोगी राहुल यादव और अन्य भोपाल निवासियों के सहयोग से शहडोल के विष्णु राम सोनी सकुशल अपने परिवार जनों से मिल पाए,दोस्तों इस कहानी से हमें यह सीख मिलती है कि हमें दुखी और बेसहारा लोगों की मदत नि:स्वार्थ भाव से करनी चाहिए और सोशल मीडिया का उपयोग सही काम के लिए करना चाहिए,हम सलाम करते हैं भोपाल में रहने वाली सोनाली जोड़े उनके सहयोगी राहुल यादव उनकी बेटी नेहा जोड़े अभिषेक काबरा और उनके पिता रमेश काबरा और संतोष लोहनी जैसे नि:स्वार्थ भाव से सेवा करने वाले लोगों को जिनकी वजह से एक बिछड़ा अपने परिवार से सही सलामत मिल पाया।आप भी किसी कमजोर, बेसहारा, गरीब की मदत कर के देखिए अच्छा लगेगा।