10वीं व 12वीं की बोर्ड परीक्षा, कमजोर विद्यार्थियों की कराई जा रही है विशेष तैयारी

स्वतंत्र समय, भोपाल

माध्यमिक शिक्षा मंडल (माशिमं) की 10वीं व 12वीं की बोर्ड परीक्षा पांच फरवरी से शुरू हो रही है। बोर्ड के विद्यार्थियों के पास मात्र दो माह का समय शेष है। ऐसे में चुनाव के कारण अब तक कुछ स्कूलों का पाठ्यक्रम पूरा नहीं हो पाया है, हालांकि छह दिसंबर से नौवीं से 12वीं तक की छमाही परीक्षाएं आयोजित की जाएंगी। इसके बाद प्री-बोर्ड और बोर्ड परीक्षा भी होगी। ऐसे में सौ प्रतिशत परिणाम लाने वाले स्कूलों ने विशेष तैयारी शुरू कर दी है। कुछ स्कूलों में त्योहार की छुट्टी और रविवार को भी कक्षाएं लगाकर तैयारी कराई जा रही है। साथ ही कुछ स्कूलों में कमजोर व प्रतिभावान विद्यार्थियों की सूची तैयार कर तैयारी करवाई जा रही है। कुछ स्कूलों ने आनलाइन के साथ-साथ अतिरिक्त कक्षाएं भी शुरू कर दिए हैं।उत्कृष्ट विद्यालय में कमजोर व प्रतिभावान विद्यार्थियों का अलग-अलग ग्रुप बनाया गया है। इसमें प्रतिभावान विद्यार्थियों की शाम को आनलाइन कक्षाएं लगाई जा रही है। इसमें शिक्षक शाम सात से आठ बजे तक विद्यार्थियों के डाउट्स क्लीयर करते हैं। वहीं कमजोर विद्यार्थियों के लिए स्कूल में सुबह आठ से नौ बजे तक अतिरिक्त कक्षाएं संचालित की जा रही है।साथ ही छुट्टी के दिन सभी की कक्षाएं लगाई जा रही है।
साप्ताहिक टेस्ट भी लिए जा रहे हैं। इसमें एक-एक सवाल पर विद्यार्थियों को समझाया जा रहा है।सीएम राइज स्कूल शासकीय उमावि बरखेड़ी भोपाल में अवकाश के दिनों में भी कक्षाएं लगाई जा रही है। इसमें तिमाही परीक्षा से कमजोर विद्यार्थियों को चिन्हित कर उनकी उपलब्धि स्तर में सुधार करना उनकी समझ को पहचान कर उन्हें सिखाने का प्रयास करना है।
इस कक्षा में कमजोर विद्यार्थियों को महत्वपूर्ण प्रश्नों को हल करने का अभ्यास कराया जा रहा है। 28 नवंबर से स्कूल में छमाही परीक्षा को देखते हुए विशेष कक्षाएं लगाई जाएगी। ऐसे विद्यार्थी जिनकी उपस्थिति कम है उनकी काउंसलिंग की जा रही है। रेमेडियल कक्षा से अनुपस्थित रहने वाले कमजोर विद्यार्थियों की मानिटरिंग की जा रही है।कमजोर विद्यार्थियों का उपलब्धि स्तर सुधारने और उनकी स्कूल में उपस्थिति सुनिश्चित करने के लिए स्कूल के शिक्षकों को टीचर वार्डन बनाया गया है। सीएम राइज स्कूल निशातपुरा में दशहरा व दीपावली से लेकर हर त्योहार और रविवार को भी कक्षाएं लगाई जा रही हैं।साथ ही हर दिन अतिरिक्त कक्षाएं लगाईं जा रही हैं। तिमाही परीक्षा के परिणाम के आधार पर प्रत्येक कक्षा शिक्षक को कमजोर विद्यार्थियों की जिम्मेदारी दी गई है, ताकि उन्हें अलग से पढ़ा सकें।इसके अलावा क्लास में हर महीने टेस्ट लेकर टापर को चिन्हित कर उसकी फोटो लगाई जाती है,ताकि अन्य विद्यार्थी प्रेरित हो सकें।

इनका कहना है

कमजोर विद्यार्थियों के लिए शिक्षकों को वार्डन बनाया गया है, ताकि उसकी काउंसलिंग के साथ-साथ उसकी तैयारी कराई जा सके।
-केडी श्रीवास्तव, प्राचार्य, सीएम राइज स्कूल शासकीय उमावि बरखेड़ी।

10वीं व 12वीं के प्रत्येक सेक्शन से कमजोर व प्रतिभावान विद्यार्थियों को चिन्हित कर उनकी अलग-अलग तैयारी कराई जा रही हैं। साथ ही अतिरिक्त कक्षाएं भी लगाईं जा रही हैं।
-सुधाकर पाराशर, प्राचार्य, उत्कृष्ट विद्यालय।