IAS अफसरों के आधे-अधूरे बैच को मिल रही कलेक्टरी

सीताराम ठाकुर, भोपाल

मप्र सरकार द्वारा कलेक्टर की पोस्टिंग में भी भेदभाव किया जा रहा है। खासकर प्रमोशन से आईएएस ( IAS ) बने अफसरों के बैच में शामिल अधिकारियों की जगह इक्का-दुक्का को ही कलेक्टरी मिल पाती है, जबकि सीधी भर्ती के आईएएस अफसर प्रमोटी से दो गुना ज्यादा कलेक्टरी पाने में सफल रहते हैं। ऐसा 2014 के बैच अफसरों के साथ देखा जा सकता है। सीधी भर्ती के 10 से ज्यादा आईएएस और प्रमोशन वाले चार अफसर ही कलेक्टरी कर रहे हैं।

2015 बैच के  IAS  अफसरों को कलेक्टर बनाया

हाल ही में सरकार ने 2015 बैच के आईएएस ( IAS ) अफसरों को कलेक्टर बनाया है। इनमें संस्कृति जैन सिवनी, अदिति गर्ग मंदसौर, पर्थ जैसवाल छतरपुर, रौशन कुमार सिंह विदिशा, मृणाल मीना बालाघाट, हर्ष सिंह डिंडौरी, हर्षल पंचौली अनूपपुर और हिमांशु चंदा को नीमच का कलेक्टर बनाया है, जबकि इस बैच में 16 आईएएस अफसर हैं और 12 सीधी भर्ती के तथा 4 प्रमोशन वाले अफसर शामिल हैं। 2014 बैच में कुल 28 अफसर हैं, जिसमें प्रमोटी अफसरों में अभी तक डॉ. अभय अरविंद बेडेकर, अलीराजपुर, सुधीर कुमार कोचर, दमोह, अजयदेव शर्मा पन्ना, चंद्रशेखर शुक्ला सिंगरौली और विदिशा कलेक्टरी से हटाए गए बुद्धेश वैद्य का नाम शामिल हैं। इसी बैच के नियाज अहमद खान, नीतू माथूर, अंजू पवन भदौरिया, जमुना भिडे, दिलीप कुमार कापसे, विनय निगम आदि को कलेक्टर नहीं बनाया है। जबकि सीधी भर्ती के 12 अफसर कलेक्टर हैं।

कई अफसर कर रहे मशक्कत

2010 बैच में चंद्रशेखर वालिम्बे, 2011 बैच में सीधी भर्ती की आईएएस नेहा मारव्या, प्रमोशन से आईएएस बने अफसरों में प्रीति जैन, उषा परमार, हरिसिंह मीना, सरिता बाला प्रजापति, गिरीश शर्मा, 2012 बैच के रत्नाकर झा, तरुण भटनागर, दिनेश कुमार मौर्य, विवेक श्रोत्रिय,राजेश कुमार ओगरे, भारती ओगरे, 2013 बैच के शिवम वर्मा, मीनाक्षी सिंह, कैलाश वानखेडेÞ, अमर बहादुर सिंह, मनीषा सेठिया, नीरज कुमार वशिष्ठ, रुही खान, पवन कुमार जैन आदि शामिल हैं। इनमें पवन कुमार जैन के विरुद्ध शिकायतें लंबित हैं।

अभी 2015 बैच के ये अफसर लाइन में

2015 बैच को कलेक्टरी मिलना प्रारंभ हो गई है। 8 अफसर कलेक्टर बनाए भी जा चुके हैं। इसके बावजूद रीतू राज, अर्पित वार्मा,बालागुरु के, गुनचा सनोबर, प्रमोटी राखी सहाय, संजय कुमार जैन, शीला दाहिमा और विदिशा मुखर्जी कलेक्टर पाने के लिए लॉबिंग में जुटे हुए हैं। उधर, सीधी भर्ती और प्रमोशन से आईएएस बनीं कई महिला अफसरों को केवल एक बार ही कलेक्टरी मिल सकी है। वर्तमान में इनमें से कई को सचिव और निगम-मंडलों में एमडी जैसे पद पर पदस्थ कर रखा है।

सुलेमान को मंत्रालय से बाहर भेजा

1989 बैच के आईएएस एवं कृषि उत्पादन आयुक्त मोहम्मद सुलेमान को सरकार मंत्रालय से बाहर भेजने की तैयारी में हैं। खासकर कर्मचारी चयन मंडल के चेयरमैन संजय बंदोपाध्याय 31 अगस्त को सेवानिवृत्त हो चुके हैं और इस पद पर एसीएस सुलेमान को पदस्थ किया गया है। सुलेमान के पास एपीसी और कर्मचारी चयन मंडल की जिम्मेदारी रहेगी। बाद में सरकार उन्हें मंत्रालय से बाहर का भी रास्ता दिखा सकती है, जिससे इनके सीएस बनने की संभावना लगभग खत्म हो जाएगी।

15 सितंबर तक सीएस का नाम होगा क्लीयर

मुख्य सचिव वीरा राणा का छह माह का एक्सटेंशन 30 सितंबर को खत्म होने वाला है। यह माना जा रहा है कि अब उन्हें एक्सटेंशन नहीं दिलाया जाएगा। ऐसे में नए मुख्य सचिव के नाम पर 15 सितंबर तक मुहर लगने की संभावना है। यानि 15 सितंबर के आसपास मुख्य सचिव कार्यालय में ओएसडी की पोस्टिंग कर दी जाएगी। इस दौड़ में सबसे आगे केंद्र में पदस्थ अनुराग जैन, मुख्यमंत्री कार्यालय के एसीएस राजेश राजौरा के अलावा अन्य दावेदारों में एसएन मिश्रा, विनोद कुमार, जेएन कंसोटिया शामिल हैं। एसएन मिश्रा का जनवरी 2025 में रिटायरमेंट है। इसलिए दौड़ में होने के बाद भी संभावना कम लग रही है।