8th Pay Commission: अगर आप या आपकी परिवार में कोई केंद्रीय सरकार का कर्मचारी है, तो यह जानकारी आपके लिए महत्वपूर्ण है। केंद्रीय कर्मचारियों और पेंशनर्स को आठवें वेतन आयोग (8th Pay Commission) के तहत सैलरी बढ़ोतरी का इंतजार है। कर्मचारी यूनियन पिछले एक साल से इस आयोग को लागू करने की मांग कर रही हैं। कई मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, उम्मीद है कि सरकार की ओर से आठवें वेतन आयोग का ड्राफ्ट 1 जनवरी, 2026 तक तैयार हो जाएगा। इससे कर्मचारियों को वेतन में वृद्धि और बेहतर सुविधाएँ मिलने की संभावना है।
सरकार की तरफ से अभी तक आठवें वेतन आयोग के संबंध में कोई आधिकारिक पुष्टि नहीं की गई है। सातवें वेतन आयोग को साल 2014 में लागू किया गया था, और आयोग की समय सीमा आमतौर पर 10 साल होती है। इसलिए, उम्मीद जताई जा रही है कि सरकार सातवें वेतन आयोग की समय सीमा समाप्त होने से पहले आठवें वेतन आयोग पर काम शुरू करेगी। यह सिफारिश आयोग के माध्यम से की जाती है कि कर्मचारियों को कितना वेतन मिलेगा, कौन-कौन से भत्ते दिए जाएंगे, और रिटायरमेंट के समय पेंशन कितनी होगी। वर्तमान में, सातवें वेतन आयोग की समाप्ति के बाद यह सभी पहलू फिर से विचाराधीन होंगे।
सिफारिशें तैयार करने में आमतौर पर 12 से 18 महीने का समय लगता है। हालांकि, मोदी सरकार की तरफ से अभी तक आठवें वेतन आयोग के गठन की कोई आधिकारिक घोषणा नहीं की गई है। किसी भी आयोग के गठन के बाद, उसे अपनी सिफारिशें तैयार करने से पहले अर्थव्यवस्था की स्थिति को ध्यान में रखना होता है। सातवें वेतन आयोग के तहत, कर्मचारी यूनियनों ने 3.68 का फिटमेंट फैक्टर मांगा था, लेकिन उस समय सरकार ने 2.57 पर समझौता किया। इससे यह स्पष्ट होता है कि नए आयोग के गठन के समय भी कर्मचारियों की सैलरी और अन्य वित्तीय लाभों के समायोजन पर ध्यान दिया जाएगा।
फिटमेंट फैक्टर पेंशन और सैलरी को तय करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। सातवें वेतन आयोग के तहत, 2.57 फिटमेंट फैक्टर के आधार पर न्यूनतम वेतन 18,000 रुपये प्रति माह हो गया, जो कि छठे वेतन आयोग के न्यूनतम वेतन से बढ़कर है। इस तरह, न्यूनतम पेंशन 3,500 रुपये से बढ़कर 9,000 रुपये हो गई। अधिकतम वेतन 2,50,000 रुपये और अधिकतम पेंशन 1,25,000 रुपये हो गई। फाइनेंशियल एक्सप्रेस में प्रकाशित रिपोर्ट के अनुसार, आठवें वेतन आयोग के लिए फिटमेंट फैक्टर 1.92 माना जा सकता है, लेकिन इस संबंध में अभी तक कोई आधिकारिक पुष्टि नहीं की गई है।