जिसने जमानत के लिए हाईकोर्ट में स्वयं को IAS बताया, वह फर्जी निकला

स्वतंत्र समय, भोपाल

हाईकोर्ट में एक युवक ने याचिका लगाते हुए स्वयं को आईएएस ( IAS ) अधिकारी बताते हुए मामले की जांच उच्च स्तर से कराने का आग्रह किया था। पुलिस ने इस मामले में यूपीएससी से अभिमत मांगा तो वह आईएएस अधिकारी नहीं निकला। हाईकोर्ट ने मप्र सरकार से भी जवाब मांगा था, लेकिन कोर्ट को कोई जवाब नहीं मिला। महिला थाना नरसिंहपुर में एक महिला ने अपराध क्रमांक 24/2023 के तहत वीर सिंह राजपूत के विरुद्ध धारा 376, 376 (2-एन), 506 दंड प्रक्रिया संहिता के तहत मामला दर्ज कराया था।

बलात्कार के प्रकरण में स्वयं को IAS  बताया

महाधिवक्ता मप्र ने हाईकोर्ट में विचाराधीन एमसीआरसी न 54588/2023 वीर सिंह राजपूत पिता नारायण सिंह राजपूत के विरुद्ध महिला थाना नरसिंहपुर में दर्ज अपराध क्रमांक 24/2023 में उत्तरवादी की तरफ से प्रस्तुत में वीर सिंह राजपूत द्वारा स्वयं को सिविल सेवा एग्जामिनेशन 2019 का अपाईमेंट आर्डर एवं ट्रांसफर नोटिफिकेशन लगाते हुए एक महिला द्वारा दर्ज कराए गए बलात्कार के प्रकरण में स्वयं को आईएएस ( IAS ) अधिकारी बताया । इस मामले में पुलिस ने भारत सरकार के गृह मंत्रालय को भी पत्र लिखकर रिपोर्ट मांगी थी। पुलिस ने बलात्कार के मामले में आरोपी वीर सिंंह राजपूत पर मामला दर्ज करते हुए गिरफ्तारी की थी। जिसके खिलाफ आरोपी वीर सिंह ने हाईकोर्ट में अपनी जमानत आवेदन के साथ स्वयं का चयन भारतीय प्रशासनिक सेवा में होने का उल्लेख करते हुए न्यायालय से जमानत मांगी थी। वर्तमान में आरोपी जमानत पर है। आरोपी द्वारा उच्च न्यायालय के समक्ष धारा 482 दंड प्रक्रिया संहिता के अंतर्गत एमसीआरसी प्रस्तुत किया है जिसमें राज्य शासन के अतिरिक्त प्रकरण की प्रार्थिया को पक्षकार बनाया है।
उत्तरवादी क्रमांक-2 रंजना धुर्वे द्वारा उच्च न्यायालय के समक्ष एनेक्चर आर-2 के दस्तावेज में सिविल सर्विस परीक्षा 2019 की सूची, सिविल सर्विस मेन-2018 की सूची, स्टेट कैडर एक जनवारी 2019 की लिस्ट एवं नोटिफिकेशन पेश कर यह व्यक्त किया था कि आरोपी वीर सिंह राजपूत द्वारा फर्जी दस्तावेज न्यायालय के समक्ष प्रस्तुत किए है। इसके आधार पर महाधिवक्ता ने राज्य सरकार से स्वयं को आईएएस अधिकारी बताने वाले वीर सिंह राजपूत के बारे में जानकारी मांगी थी। पुलिस ने यूपीएससी और डीओपीटी को पत्र लिखकर सत्यापन कराया तो वीर सिंह राजपूत जो स्वयं को आईएएस बता रहा था, वह फर्जी निकला। अब मामले में हाईकोर्ट को फैसला लेना है।