पड़ाना गांव में पकड़े 3870 फर्जी समग्र आईडी होने कि बात सामने आने पर शनिवार को जनपद टीम जांच के लिए पहुंची। पहले ही दिन एक परिवार के पते पर जांच के लिए गयी टीम को पति हिंदू और पत्नी मुस्लिम मिली। हालांकि टीम को इस नाम का परिवार नहीं मिला तो आईडी डिलीट कर दी गई।
इस घटना के बाद अब पुरे जिले में लाखों फर्जी समग्र परिवार आईडी के माध्यम से गड़बड़ी कि आशंका हो रही है. पंचायत अमला जांच मे जुटा है. अकेले सारंगपुर जनपद के 98 पंचायत क्षेत्रों के 183 गांव में 248852 समग्र आईडी में से E-KYC के दौरान 182829 ने ही दस्तावेजो के वेरिफिकेशन कराए, जबकि 65352 समग्र आईडी धारक पहुंचे ही नहीं।
कागजो में परिवार हिंदू पति मुस्लिम पत्नी
पड़ाना गांव में पहले दिन ही टीम ने 1000 संदिग्ध समग्र आईडी कि जांच कि जिसमे 500 से ज्यादा फर्जी पाए गए है। समग्र परिवार आईडी 33667492 कि जांच के लिए ओमप्रकाश जाटव पिता रईस मुस्तकिम खां और पत्नी नसीम बानो पति ओमप्रकाश जाटव कि जांच कि. दिए गए पते पर कोई नहीं मिला। टीम ने शाम 7 बजे इस आईडी को डिलीट कर दिया। लेकिन गांव में सिर्फ राशन लेने के लिए ऐसे ही कई परिवार बने हुए है।
इस तरह पकड़ाया घोटाला
जनपद सीईओ प्रमोदकुमार सिंह ने पड़ाना में ऑनलाइन दर्ज 10910 समग्र आईडी कि समीक्षा के दौरान महज 5670 लोगों ने ही आधार से लिंक पाए जाने पर पंचायत कर्मियों पर सवाल उठाए. तो पंचायतकर्मियों ने बताया कि जनसंख्या 7310 में मुकाबले लगभग 80 प्रतिशत काम हो चुका है. लेकिन जितनी जनसंख्या उतनी समग्र आईडी होने कि अपेक्षा 3780 ज्यादा कैसे? यह प्रश्न चिन्ह उठने के बाद जांच टीम बनाकर अब जांच करवाई जा रही है।
अकेले पड़ाना में 3780 बोगस नागरिक तो सभी गांव के क्या हाल होंगे सवाल उठने के बाद अब हर पंचायत में जांच हो रही है। शनिवार को पड़ाना गांव में महिला बाल विकास कि 10 आंगनवाड़ी कार्यकर्ताओ सहित 38 कर्मचारियों कि टीम ने जैसे ही जांच शुरू कि तो पास के ग्राम पंचायत मऊ में आम नागरिक खुद ही पंचायत भवन पहुंचकर बोगस आईडी डिलीट करवा रहे है।
अगर बड़े गांवो कि बात करें तो पड़ाना के बाद संडावता में 4725, पाड़ल्या माता में 4523, भ्याना में 4458, लीमाचौहान में 3252, उदनखेड़ी में 2858, सुल्तानिया में 2893, मऊ में 2582, गुलावता में 2581, हराना में 2357, मगराना में 2126, असारेटा पवार में 2116, मुंडला लोधा में 2108, कड़लावद में 1937 लोग E-KYC कराने पहुंचे ही नहीं है।
ग्रामीणों ने दबी जबान बताया कि एक ही परिवार के कुछ लोगों ने फर्जी परिवार आईडी बनवा ली. सिर्फ राशन लेने, आंगनवाड़ी से पोषण आहार लेने और अन्य शासकीय योजनाओं का लाभ लेने के लिए ऐसे कई परिवार बना लिए गए। मुस्लिम बाहुल्य गांवो में ही ज्यादा लोग E-KYC कराने नहीं पहुंचे। अब पाड़ल्या माता, संडावता में भी इस तरह के सवाल उठ रहे है।
मामले में जनपद सीईओ प्रमोदकुमार सिंह ने बताया कि एक ही दिन में 500 फर्जी परिवार पकड़ में आए है, इनमे 300 राशन भी लेकर जा रहे थे। ऐसे में लालचवश मिलीभगत से फर्जी परिवार आईडी बनवा ली. पड़ाना के बाद पाड़ल्या हो या अन्य गांव सभी जगह जांच कि जाएगी।