Road Accident: मंगलवार को राजस्थान के एक सड़क हादसे में शिवशक्ति नगर निवासी एक ही परिवार के पांच सदस्यों की दुखद मौत हो गई। यह परिवार तीन दिन पहले अपनी कार से करौली घूमने गया था। हादसा उस वक्त हुआ जब तेज रफ्तार यात्री बस ने उनकी कार को टक्कर मार दी। यह हादसा परिवार के लिए एक भारी शोक का कारण बना है। पुलिस ने मामले की जांच शुरू कर दी है, और शवों को पोस्टमॉर्टम के लिए भेज दिया गया है। इस हादसे ने पूरे इलाके को हिला दिया है और परिवार के सदस्य इस अप्रत्याशित घटना से गहरे दुख में हैं।
एसीपी (परदेशीपुरा) सोनू डाबर के मुताबिक, यह हादसा राजस्थान के करौली-गंगापुर मार्ग पर सलेमपुर गांव के पास हुआ। शिवशक्ति नगर निवासी 64 वर्षीय नयन देशमुख अपनी कार (एमपी 09 सीएक्स 0543) से पत्नी अनिता देशमुख, बेटी मनस्वी, बेटा खुश और बहन प्रीति भट्ट के साथ घूमने के लिए गए थे। तेज रफ्तार यात्री बस ने उनकी कार को टक्कर मार दी, जिससे पूरे परिवार के पांच सदस्य अपनी जान गंवा बैठे। यह घटना न केवल उनके परिवार के लिए, बल्कि पूरे समुदाय के लिए एक बड़ी क्षति है। पुलिस घटना की जांच कर रही है, और आगे की कार्यवाही की जा रही है।
तेज रफ्तार बस ने कार को टक्कर मार दी, जिससे हादसा इतना भीषण हो गया कि चार लोगों की मौके पर ही मौत हो गई। सूचना मिलते ही कलेक्टर (करौली) नीलाभ सक्सेना, एसपी बृजेश ज्योति उपाध्याय और अन्य अधिकारी भी घटनास्थल पर पहुंचे। हादसे में गंभीर रूप से घायल पांचवें सदस्य की बाद में अस्पताल में मौत हो गई। यह घटना बेहद दुखद थी और पूरे इलाके में शोक की लहर फैल गई। पुलिस और प्रशासन ने मौके पर पहुंचकर शवों को पोस्टमॉर्टम के लिए भेज दिया और मामले की जांच शुरू कर दी है।
एक घायल को अस्पताल भिजवाया गया, लेकिन अफसोस की बात है कि उसने भी अस्पताल में दम तोड़ दिया। कार में मिले सामान से मृतकों की पहचान की गई। करौली एसपी बृजेश ज्योति उपाध्याय ने डीसीपी जोन-1 विनोद कुमार मीना और अभिनय विश्वकर्मा को फोन करके हादसे की सूचना दी। पुलिस ने शवों को पोस्टमॉर्टम के लिए भेजकर मामले की गहनता से जांच शुरू कर दी है। यह हादसा पूरे इलाके में शोक की लहर छोड़ गया है, और प्रशासन ने पीड़ित परिवार के प्रति संवेदनाएं व्यक्त की हैं।
रहवासी संघ के अध्यक्ष रोहित मावले के मुताबिक, नयन देशमुख पीडब्ल्यूडी से रिटायर हो चुके थे और वे तेल का कारोबार करते थे। वह अपने परिवार के साथ तीन दिन पहले कार से करौली गए थे। उनके बेटे खुश इंजीनियरिंग के छात्र थे, जबकि बेटी मनस्वी बीपीओ में नौकरी करती थी।
खुश की परीक्षा चल रही थी और मनस्वी को भी ज्यादा छुट्टी नहीं मिली थी, इसलिए उन्हें जल्दी ही वापस लौटना था। हादसे के बाद, देशमुख के घर पर ताला लगा हुआ है और उनके रिश्तेदार गुजरात में रहते हैं। यह घटना उनके परिवार के लिए एक भारी आघात साबित हुई है, और क्षेत्र में दुख की लहर है। प्रशासन और स्थानीय लोग इस दुखद घड़ी में परिवार के साथ खड़े हैं।