भक्ति और आस्था की मिसाल पेश करते हुए अनंत अंबानी ने अपने पैतृक गांव जामनगर से द्वारका में विराजमान द्वारकाधीश के दर्शन किए। यह यात्रा करके अनंत अंबानी और अंबानी परिवार ने यह साबित कर दिया है कि सिर्फ ऐश्वर्य के लिए ही भक्ति नहीं की जाती। यह अपनी संस्कृति और सनातन धर्म के प्रति अगाथ आस्था और अपनी भगवान के प्रति गहरी प्रीत से ही संभव है। इसी के चलते रिलायंस ग्रुप के चेयरमैन मुकेश अंबानी के छोटे बेटे अनंत अंबानी ने एक शानदार उपलब्धि हासिल की है।
रामनवमी के अवसर पर किए द्वारकाधीश के दर्शन
रविवार को उन्होंने गुजरात के जामनगर से द्वारका तक 170 किमी लंबी पदयात्रा पूरी की, जिसे लेकर उनके परिवार में खुशी का माहौल है। इस यात्रा को उन्होंने रामनवमी के शुभ अवसर पर पूरा किया और साथ ही अपनी मां नीता अंबानी के साथ द्वारकाधीश मंदिर पहुंचे। इस दौरान अनंत का 30वां जन्मदिन भी मनाया गया।
नीता अंबानी ने जताया बेटे पर गर्व
नीता अंबानी ने इस विशेष मौके पर अपने बेटे पर गर्व जताते हुए कहा, “एक मां के तौर पर यह मेरे लिए गर्व का क्षण है कि मेरे छोटे बेटे अनंत ने द्वारकाधीश के पवित्र स्थान की पदयात्रा पूरी की। पिछले 10 दिनों से, अनंत के साथ यात्रा में शामिल सभी युवा हमारी संस्कृति को बढ़ावा देने में लगे हुए हैं। मैं भगवान द्वारकाधीश से प्रार्थना करती हूं कि वे अनंत को और शक्ति प्रदान करें।
30 जन्मदिन पर साकार हुआ सपना
अनंत की पत्नी राधिका मर्चेंट ने भी इस यात्रा को लेकर खास बातें साझा कीं। उन्होंने बताया कि अनंत की शादी के बाद पदयात्रा पर जाने की इच्छा थी और आज, उनके 30वें जन्मदिन के मौके पर, यह सपना साकार हुआ है। राधिका ने कहा, “हम गर्व महसूस कर रहे हैं कि हम उनके इस महत्वपूर्ण पल को साझा कर रहे हैं। मैं उन सभी का धन्यवाद करती हूं जिन्होंने इस यात्रा को सफल बनाने में अनंत को आशीर्वाद दिया।
अनंत ने आध्यात्मिक अनुभव किए साझा
इस यात्रा के दौरान, अनंत ने अपने आध्यात्मिक अनुभव को साझा किया। उन्होंने कहा, “यह मेरी अपनी आध्यात्मिक यात्रा है, जो मैंने भगवान का नाम लेकर शुरू की थी और उसी नाम से इसे समाप्त करूंगा। मैं भगवान द्वारकाधीश का धन्यवाद करना चाहता हूं और उन सभी का आभारी हूं जो इस यात्रा में मेरे साथ थे।”
देवी स्तोत्र का पाठ करते हुए की पदयात्रा
इस पदयात्रा में अनंत को भरपूर समर्थन मिला और बड़ी संख्या में लोग उनके साथ चले। यात्रा के दौरान, अनंत हनुमान चालीसा, सुंदरकांड और देवी स्तोत्र का पाठ करते हुए नजर आए। धर्म में गहरी रुचि रखने वाले अनंत अंबानी का यह कदम उनकी आस्था और आध्यात्मिक यात्रा को और भी मजबूत करता है। साथ ही, उनकी प्रकृति और जानवरों के प्रति गहरी लगाव को भी लोग जानते हैं। जामनगर के पास, उन्होंने दुनिया के सबसे बड़े वन्यजीव संरक्षण केंद्र ‘वंतारा’ की स्थापना भी की है।
अनंत अंबानी की इस अद्वितीय यात्रा ने न केवल उनके परिवार को गर्वित किया बल्कि समाज में उनकी धार्मिक आस्था और सामाजिक कार्यों के प्रति प्रतिबद्धता को भी एक नया आयाम दिया है।