मोहन सरकार के बद्जुबान मंत्री विजय शाह के देश की वीर महिला के सम्मान को ठेस पहुंचाने वाले बयान के बाद पुरे प्रदेश की राजनीति में उठापटक मच गई है। हाईकोर्ट के आदेश के बाद मंत्री विजय शाह पर जहां उनके खिलाफ मानपुर थाने में एफआईआर दर्ज हो गई है। यहीं सुप्रीम कोर्ट की फटकार के बाद जहां पुलिस धाराएं लगाने की जांच कर रही है यहीं अब एफआईआर के बाद मंत्री शाह का रूतबा उतर गया है। इसी के चलते इंदौर के ब्रिलिएंट कन्वेंशन सेंटर में 15 और 16 मई को प्रस्तावित वन अधिकार समिति की बहुचर्चित कार्यशाला अचानक सुर्खियों में आ गई है। कार्यशाला से ठीक पहले बड़ा फैसला लेते हुए आयोजकों ने मंत्री विजय शाह का पोस्टर हटा दिया। उसी जगह पर अब उनकी जगह प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का पोस्टर लगा दिए गए है।
सुप्रीम कोर्ट ने लगाई है फटकार
इस बदलाव के पीछे शाह का हालिया विवाद है, जिसमें उन्होंने सोफिया कुरैशी को लेकर एक आपत्तिजनक बयान दिया था। इस बयान के चलते हाईकोर्ट ने उनके खिलाफ FIR दर्ज करने के आदेश दिए, और सुप्रीम कोर्ट ने भी उन्हें सार्वजनिक तौर पर फटकार लगाई। इस पूरे घटनाक्रम ने कार्यशाला को लेकर उत्सुकता और बढ़ा दी है। दो दिवसीय यह कार्यशाला अब न केवल वन अधिकारों पर गंभीर विमर्श का केंद्र बनेगी, बल्कि राजनीतिक हलचलों का भी बड़ा मंच साबित हो सकती है। अब सबकी निगाहें इस बात पर हैं कि प्रधानमंत्री की अगुवाई में कौन-कौन से नए नीतिगत संकेत मिलते हैं और यह आयोजन क्या नया मोड़ लेता है।