केरल में ‘भारत माता’ की फोटो बनी सियासी जंग का मुद्दा

भारत माता : केरल में भारत माता की तस्वीर को लेकर विवाद बढ़ता जा रहा है। राजभवन में गोवा दिवस के मौके पर राज्यपाल राजेंद्र विश्वनाथ आर्लेकर ने भारत माता की तस्वीर पर फूल चढ़ाए। दूसरी ओर, सीपीआई ने अपने एक स्थानीय कार्यक्रम से भारत माता की तस्वीर वाला पोस्टर हटा दिया। राज्यपाल कार्यालय ने बताया कि गोवा स्थापना दिवस का आयोजन ‘एक भारत-श्रेष्ठ भारत’ योजना के तहत यह कार्यक्रम किया गया था। सीपीआई ने 13 से 15 जून तक होने वाले स्थानीय पार्टी कार्यक्रम के पोस्टर हटा दिए। पोस्टर में भारत माता तिरंगे की साड़ी पहने थीं और हाथ में राष्ट्रीय ध्वज लिए हुए दिखाई दे रही थीं। सीपीआई के जिला सचिव वी.बी. बीनू ने बताया कि जब उन्हें इस पोस्टर की जानकारी मिली, तो अनावश्यक विवाद से बचने के लिए इसे सोशल मीडिया से हटाने का निर्देश दिया गया। उन्होंने कहा कि पार्टी कार्यक्रमों में राष्ट्रीय ध्वज या प्रतीकों को शामिल करना ठीक नहीं है।

विवाद की पूरी जानकारी

केरल में विवाद तब शुरू हुआ जब राजभवन ने पर्यावरण दिवस पर एक कार्यक्रम में भारत माता की तस्वीर लगाई। कृषि मंत्री पी. प्रसाद ने इसे धर्मनिरपेक्षता के खिलाफ बताया और कार्यक्रम का बहिष्कार किया। उन्होंने कहा, यह तस्वीर आरएसएस से जुड़ी है। सीपीआई ने राष्ट्रीय ध्वज फहराने और पौधे लगाने का अभियान चलाया। CPM ने कहा, संविधान में भारत माता जैसी कोई अवधारणा नहीं है।

राज्यपाल ने व्यंग्य में कहा

केरल के राज्यपाल राजेंद्र विश्वनाथ आर्लेकर ने ‘भारत माता’ को लेकर सीपीआई पर हल्का तंज किया। उन्होंने कहा कि पहले जो लोग भारत माता का नाम नहीं लेते थे, अब ‘भारत माता की जय’ बोल रहे हैं, यह एक अच्छा बदलाव है। उन्होंने यह भी कहा कि भारत माता पर विवाद नहीं होना चाहिए, क्योंकि यह सभी के लिए आदर की बात है।