Jackie Shroff: बॉलीवुड में कुछ किरदार ऐसे होते हैं जो न केवल अभिनेताओं की प्रतिभा को परखते हैं, बल्कि उनकी भावनात्मक गहराई और समर्पण को भी चुनौती देते हैं। ऐसा ही एक किरदार है ‘देवदास’, जो शरतचंद्र चट्टोपाध्याय के उपन्यास पर आधारित है। यह किरदार अपनी जटिल भावनाओं, आत्म-विनाशकारी प्रवृत्ति और प्रेम की गहनता के कारण हमेशा से अभिनेताओं के लिए चुनौतीपूर्ण रहा है।
Jackie Shroff: ‘देवदास’ की चुनौती
जैकी श्रॉफ ने हाल ही में एक साक्षात्कार में खुलासा किया कि जब संजय लीला भंसाली की फिल्म ‘देवदास’ (2002) बन रही थी, तब इस किरदार को निभाने के लिए कई अभिनेताओं ने हिचकिचाहट दिखाई थी। जैकी ने बताया, “देवदास एक ऐसा किरदार है, जिसे निभाने के लिए आपको अपनी आत्मा को झकझोरना पड़ता है। यह एक कमजोर, टूटा हुआ, और प्यार में डूबा हुआ इंसान है, जो अपनी कमियों के कारण बार-बार गलतियां करता है। इस तरह का किरदार निभाना आसान नहीं है, क्योंकि इसमें आपको दर्शकों का प्यार और नफरत, दोनों सहने पड़ते हैं।”
जैकी ने आगे कहा कि शाहरुख खान ने इस किरदार को इतनी खूबसूरती से निभाया कि यह आज भी लोगों के दिलों में बसा हुआ है। “शाहरुख ने देवदास को एक नया आयाम दिया। उन्होंने उस दर्द और प्यार को इतनी गहराई से पेश किया कि लोग आज भी उस किरदार से जुड़ाव महसूस करते हैं। लेकिन यह सच है कि इस किरदार को स्वीकार करना हर किसी के बस की बात नहीं थी।”
Jackie Shroff: चुनौतीपूर्ण किरदारों का आकर्षण
जैकी श्रॉफ, जिन्होंने ‘हीरो’, ‘राम लखन’, और ‘परिंदा’ जैसी फिल्मों में अपने अभिनय का लोहा मनवाया, हमेशा से अलग-अलग तरह की भूमिकाओं के प्रति आकर्षित रहे हैं। उन्होंने बताया कि वह हमेशा ऐसे किरदारों की तलाश में रहते हैं, जो उन्हें एक अभिनेता के रूप में चुनौती दें। “मैंने हमेशा सोचा कि अगर किरदार आसान है, तो उसमें मजा नहीं है। मुझे वो किरदार चाहिए जो मुझे मेरे कम्फर्ट जोन से बाहर निकाले। चाहे वह ‘परिंदा’ का अन्ना हो या ‘1942: अ लव स्टोरी’ का खलनायक, मैंने हमेशा कुछ नया करने की कोशिश की।”