कोल्ड्रिफ सिरप त्रासदी: छिंदवाड़ा के दो और बच्चों की मौत, प्रदेश में मासूमों का आंकड़ा पहुंचा 22 पार

मध्य प्रदेश में कोल्ड्रिफ कफ सिरप से बच्चों की मौत का सिलसिला थमने का नाम नहीं ले रहा है। अब तक इस जहरीली दवा के कारण प्रदेश में मरने वाले बच्चों की संख्या 22 तक पहुँच चुकी है। इस दर्दनाक घटना में छिंदवाड़ा में 19, पांढुर्ना में एक और बैतूल में दो मासूमों की जान चली गई। वहीं, नागपुर में इलाजरत दो और बच्चों की मौत के बाद यह आंकड़ा और बढ़ गया। अभी भी कई बच्चे अस्पतालों में गंभीर हालत में भर्ती हैं और डॉक्टर उनकी जान बचाने के लिए लगातार प्रयास कर रहे हैं।

बच्चे, परिवार और मर्माहत माहौल

छिंदवाड़ा के परासिया कस्बे के पाँच वर्षीय विशाल और चार वर्षीय मयंक सूर्यवंशी की मौत ने परिवार और गांव में मातम छा दिया है। दोनों बच्चे पड़ोसी राज्य महाराष्ट्र के नागपुर में इलाज के दौरान दम तोड़ बैठे। इस घटना ने ना केवल उनके परिवार को अपूरणीय क्षति पहुँचाई है, बल्कि पूरे क्षेत्र में चिंता और भय का माहौल बना दिया है। माता-पिता और परिजन अभी भी समझ नहीं पा रहे कि उनका छोटा बच्चा अचानक क्यों नहीं रहा।

जहरीली सिरप और उसके प्रभाव

जांच में सामने आया है कि बच्चों को कुछ निजी चिकित्सकों द्वारा ‘कोल्ड्रिफ सिरप’ दिया गया था, जिसमें जहरीले रसायन पाए गए। यह सिरप लेने के कुछ ही घंटों में बच्चों की किडनी पर गंभीर असर करने लगा। शरीर में इस जहरीले तत्व के पहुंचते ही बच्चों की हालत तेजी से बिगड़ने लगी और कई की मौत किडनी फेल होने के कारण हुई। इस घटना ने स्वास्थ्य क्षेत्र में सुरक्षा और जवाबदेही को लेकर कई सवाल खड़े कर दिए हैं।

जिम्मेदारों पर कार्रवाई

छिंदवाड़ा पुलिस ने मामले में ठोस कदम उठाते हुए श्रीसन फार्मा के मालिक एस रंगनाथन को गिरफ्तार किया है। उन्हें तमिलनाडु की चेन्नई अदालत में पेश किया गया और ट्रांजिट रिमांड के बाद उन्हें मध्य प्रदेश लाया जाएगा। इसके साथ ही प्रशासन ने विशेष समिति का गठन किया है, जो यह पता लगाएगी कि जहरीली सिरप बाजार में कैसे पहुंची, किन स्तरों पर लापरवाही हुई और असली दोषी कौन हैं।

प्रशासन की प्रतिक्रिया और जांच

छिंदवाड़ा के अतिरिक्त कलेक्टर धीरेन्द्र सिंह नेत्री और पुलिस अधीक्षक अजय पांडे ने कहा है कि यह घटना गंभीर है और इसे गंभीरता से लिया गया है। प्रशासन ने अस्पतालों में बच्चों के उपचार की निगरानी बढ़ा दी है और पूरे क्षेत्र में चेतावनी जारी की गई है। विशेष समिति जल्द ही रिपोर्ट प्रस्तुत करेगी ताकि भविष्य में इस तरह की घटनाओं को रोका जा सके।