इंदौर के शिशु कुंज स्कूल की केमिस्ट्री लैब में हादसा, सभी विद्यार्थी और शिक्षक सुरक्षित

इंदौर के झलारिया क्षेत्र में स्थित शिशु कुंज इंटरनेशनल स्कूल की केमिस्ट्री लैब में शुक्रवार को एक मामूली घटना घटी, जिससे कुछ समय के लिए अफरा-तफरी का माहौल बन गया। हालांकि, राहत की बात यह रही कि सभी विद्यार्थी और शिक्षक पूरी तरह सुरक्षित हैं और किसी को गंभीर चोट नहीं आई। घटना की जानकारी मिलते ही कलेक्टर शिवम वर्मा के निर्देश पर जिला प्रशासन का अमला तत्काल मौके पर पहुंचा और स्थिति का जायजा लिया।

प्रशासनिक टीम ने मौके पर पहुंचकर की जांच

जैसे ही घटना की सूचना प्रशासन को मिली, कलेक्टर के निर्देशानुसार प्रशासनिक अधिकारियों की टीम स्कूल पहुंची। इस टीम में एसडीएम ओम नारायण बड़कुल, कार्यपालिक मजिस्ट्रेट संगीता गोलिया, फायर सेफ्टी ऑफिसर विनोद मिश्रा, राजस्व निरीक्षक श्रीराम राठौड़, और पटवारी मनोज पटेल शामिल थे। सभी अधिकारियों ने मिलकर लैब का निरीक्षण किया और घटना की पूरी जानकारी ली। एसडीएम ओम नारायण बड़कुल ने बताया कि स्थिति अब पूरी तरह सामान्य है और सभी विद्यार्थी एवं शिक्षक सुरक्षित हैं। किसी को भी गंभीर चोट या स्वास्थ्य संबंधी खतरा नहीं है।

कैसे हुई लैब में घटना?

स्कूल प्रबंधन के अनुसार, घटना के समय कक्षा 7 के विद्यार्थी और शिक्षक केमिस्ट्री लैब में प्रयोग (प्रैक्टिकल) कर रहे थे। इस दौरान प्रयोग सामग्री के कुछ छींटे पास खड़े विद्यार्थियों और शिक्षकों पर आ गए, जिससे हल्की जलन महसूस हुई। तुरंत ही विद्यार्थियों और शिक्षकों को प्राथमिक उपचार उपलब्ध कराया गया और स्कूल प्रशासन ने बिना किसी देरी के स्थिति को नियंत्रित किया।

कलेक्टर के निर्देश पर प्रशासन ने लिया त्वरित एक्शन

घटना की जानकारी मिलते ही कलेक्टर शिवम वर्मा ने जिला प्रशासन की टीम को मौके पर भेजा और जांच के निर्देश दिए। प्रशासनिक टीम ने स्कूल पहुंचकर लैब की सुरक्षा व्यवस्था, रसायनों के उपयोग और फायर सेफ्टी सिस्टम की बारीकी से जांच की।

फायर सेफ्टी ऑफिसर विनोद मिश्रा ने प्रयोग के दौरान सुरक्षा उपकरणों और एहतियाती उपायों का भी निरीक्षण किया। प्रशासन ने स्कूल प्रबंधन को सुरक्षा मानकों का पालन करने और बच्चों की सुरक्षा को सर्वोच्च प्राथमिकता देने के निर्देश दिए।

स्कूल प्रबंधन ने दी जानकारी, सभी सुरक्षित

स्कूल की ओर से महेंद्र ठाकुर ने प्रशासन को विस्तृत जानकारी देते हुए बताया कि घटना के तुरंत बाद सभी बच्चों और शिक्षकों को सुरक्षित बाहर निकाल लिया गया था। सभी को प्राथमिक उपचार उपलब्ध कराया गया और किसी को भी अस्पताल में भर्ती करने की आवश्यकता नहीं पड़ी।

उन्होंने कहा कि भविष्य में इस तरह की घटनाएं न हों, इसके लिए लैब की सुरक्षा व्यवस्था की समीक्षा की जा रही है और सभी प्रयोग निर्धारित सुरक्षा प्रोटोकॉल के तहत ही किए जाएंगे।