दो दिन के हंगामे के बाद तय हुआ एजेंडा, अब होगा वंदे मातरम–इलेक्शन रिफॉर्म्स पर मंथन

शीतकालीन सत्र के शुरुआती दिनों में SIR मुद्दे को लेकर लोकसभा और राज्यसभा में लगातार दो दिन तक भारी हंगामा देखने को मिला। विपक्ष समय निर्धारित करने पर अड़ा था, जबकि सरकार बहस कराए जाने को लेकर पहले ही सहमति जता चुकी थी। लंबे गतिरोध के बाद आखिरकार आज BAC की बैठक में तय हो गया कि वंदे मातरम और चुनाव सुधारों पर विस्तृत चर्चा कब और किस समय होगी। इस निर्णय से अब सत्र का कामकाज फिर से सामान्य रूप से आगे बढ़ने की उम्मीद है।

BAC की बैठक में तय हुआ चर्चा का कार्यक्रम

सूत्रों के अनुसार, सरकार ने शुरू से ही दोनों विषयों पर सहमति दी थी, लेकिन बहस के समय और अवधि को लेकर औपचारिक निर्णय जरूरी था। आज BAC ने यह स्पष्ट कर दिया कि 8 दिसंबर, सोमवार को दोपहर 12 बजे से वंदे मातरम पर विशेष चर्चा शुरू होगी, जिसके लिए 10 घंटे का समय निर्धारित किया गया है। इस दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भी सदन में मौजूद रहेंगे।

इसके बाद 9 और 10 दिसंबर को चुनाव सुधारों पर चर्चा की जाएगी, जिसमें कुल 10 घंटे की अवधि तय की गई है। इस तरह लगातार चले राजनीतिक गतिरोध के बाद अब संसद में SIR विवाद के बावजूद चर्चा और विधायी कार्यों के सुचारू संचालन का मार्ग साफ हो गया है।

“बिना वजह बाधा नहीं होनी चाहिए”— रिजिजू

संसदीय कार्य मंत्री किरेन रिजिजू ने मीटिंग के बाद कहा कि सर्वदलीय नेताओं की बैठक में यह सहमति बन चुकी है कि सदन में महत्वपूर्ण राष्ट्रीय मुद्दों पर विस्तृत चर्चा होगी। उन्होंने कहा कि वंदे मातरम् के 150 वर्ष पूरे होने पर विशेष चर्चा 8 दिसंबर को, जबकि चुनाव सुधारों पर चर्चा 9 दिसंबर को होगी।

रिजिजू ने यह भी कहा कि सरकार पहले दिन से हर मुद्दे पर बहस के लिए तैयार है और संसद में अनावश्यक गतिरोध नहीं होना चाहिए। उनकी उम्मीद है कि शीतकालीन सत्र में सभी सदस्य सक्रिय भागीदारी निभाएंगे।

वंदे मातरम के 150 वर्ष: पूरे देश में उत्सव का माहौल

भारत के राष्ट्रगीत वंदे मातरम के 150 साल पूरे होने पर देशभर में अलग-अलग कार्यक्रम आयोजित किए जा रहे हैं। 7 नवंबर 1875 को बंकिम चंद्र चट्टोपाध्याय द्वारा रचित यह गीत भारतीय स्वतंत्रता आंदोलन की आत्मा माना जाता है। आजादी की लड़ाई में इस गीत ने क्रांतिकारियों और आम जनता दोनों को एकजुट करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी।

24 जनवरी 1950 को इसे भारत का राष्ट्रीय गीत घोषित किया गया। इसके 150 साल पूरे होने के उपलक्ष्य में यह उत्सव 7 नवंबर 2026 तक आयोजित होगा। वर्ष 2025 में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने दिल्ली के इंदिरा गांधी इंडोर स्टेडियम में स्मारक डाक टिकट और स्मृति सिक्का जारी किया था, साथ ही एक समर्पित वेबसाइट लॉन्च की थी। पीएम मोदी ने कहा था कि वंदे मातरम सिर्फ आजादी का गीत नहीं, बल्कि स्वतंत्र भारत के सपनों और संकल्पों का प्रतीक है।