देश में अहमदाबाद में हुए प्लैन क्रेश की भयानक घटना आज भी सबके आंखों के सामने घुमने लगती है। इस हादसे में लगभग 270 लोगो की जान चली गई थी। प्लैन ने एयरपोर्ट से उडान ही भरी थी कि चंद सैकंडों में ही प्लैन क्रेश हो गया था। प्लैन हादसे के कारणों की जांच की जा रही थी। जिसकी रिपोर्ट आज सार्वजनिक की जाएंगी।
विगत जून महीने में हुए भयावह विमान हादसे की प्रारंभिक जांच रिपोर्ट शुक्रवार, 11 जुलाई को सार्वजनिक की जा सकती है। हालांकि इस संबंध में आधिकारिक रूप से अभी तक कोई तारीख घोषित नहीं की गई है, लेकिन रॉयटर्स को मामले की जानकारी रखने वाले तीन सूत्रों ने बताया कि जांचकर्ता 11 जुलाई को यह रिपोर्ट जारी कर सकते हैं।
बता दें कि इस सप्ताह की शुरुआत में विमान दुर्घटना जांच ब्यूरो (AAIB) ने संसद की एक समिति को बताया था कि वह जल्द ही, दो-तीन दिनों में, इस मामले की प्रारंभिक रिपोर्ट सार्वजनिक करेगा।
ICAO नियमों के तहत 30 दिनों में रिपोर्ट जरूरी
अंतरराष्ट्रीय नागर विमानन संगठन (ICAO) के नियमों के अनुसार, सदस्य देशों से अपेक्षा की जाती है कि वे किसी भी विमान दुर्घटना की प्रारंभिक रिपोर्ट 30 दिनों के भीतर प्रस्तुत करें। भारत भी ICAO का सदस्य है, हालांकि एक स्वतंत्र राष्ट्र होने के नाते भारत इस नियम का सख्ती से पालन करने के लिए बाध्य नहीं है। इसके बावजूद, AAIB ने यह संकेत दिया है कि वह नियत समयसीमा के भीतर रिपोर्ट साझा करेगा।
इंजन फ्यूल कंट्रोल स्विच पर केन्द्रित है जांच
12 जून को एयर इंडिया की बोइंग 787-8 विमान, जो फ्लाइट संख्या AI 171 के तहत अहमदाबाद से लंदन गैटविक जा रही थी, टेकऑफ के कुछ ही समय बाद दुर्घटनाग्रस्त हो गई थी। यह विमान अहमदाबाद के एक मेडिकल हॉस्टल परिसर पर आ गिरा, जिससे विमान में सवार सभी 241 लोगों की मौके पर ही मौत हो गई। इसके अलावा, जमीन पर मौजूद 29 अन्य लोगों की भी जान चली गई। यह हादसा न केवल भारत में बल्कि वैश्विक स्तर पर भी पिछले एक दशक का सबसे भीषण नागरिक विमानन हादसा बन गया। भारत में इससे पहले ऐसा विनाशकारी विमान हादसा तीन दशक पहले देखने को मिला था।
जांच का मुख्य केंद्र: इंजन फ्यूल कंट्रोल स्विच रॉयटर्स की रिपोर्ट के अनुसार, जांच में यह बात सामने आई है कि जांचकर्ता फिलहाल विमान के इंजन फ्यूल कंट्रोल स्विच (ईंधन नियंत्रण स्विच) की स्थिति और उनके संचालन पर विशेष ध्यान केंद्रित कर रहे हैं। ये स्विच विमान के दोनों इंजनों को ऊर्जा प्रदान करने की प्रक्रिया में अहम भूमिका निभाते हैं। सूत्रों के मुताबिक, अब तक की जांच में किसी बड़ी यांत्रिक विफलता (mechanical failure) के संकेत नहीं मिले हैं। हालांकि, यह स्पष्ट नहीं है कि जांचकर्ता ईंधन स्विच से संबंधित किन विशेष क्रियाओं की जांच कर रहे हैं। प्रारंभिक रिपोर्ट के बाद एक विस्तृत जांच रिपोर्ट भी जारी की जाएगी, जिसमें तकनीकी पहलुओं, क्रू की भूमिका, मौसम की स्थिति, एयर ट्रैफिक कंट्रोल की प्रतिक्रियाएं और अन्य संबंधित कारकों का विश्लेषण शामिल होगा। अभी सभी की निगाहें 11 जुलाई को संभावित रूप से जारी होने वाली प्रारंभिक रिपोर्ट पर टिकी हैं, जिससे इस दुखद हादसे के कारणों की पहली झलक मिल सकती है। यह रिपोर्ट यह तय करने में भी अहम भूमिका निभाएगी कि आगे की जांच किस दिशा में बढ़ेगी और सुरक्षा मानकों को सुधारने के लिए कौन से तत्काल कदम उठाए जाने चाहिए।