इंदौर आरटीओ कार्यालय में पत्रकारों पर हुए हमले के बाद पुलिस ने त्वरित कार्रवाई करते हुए सात नामजद आरोपियों सहित अन्य अज्ञात लोगों के खिलाफ मामला दर्ज कर लिया है। आरोपियों पर मारपीट के साथ-साथ डकैती की धाराओं में एफआईआर की गई है। जिन लोगों पर कार्रवाई हुई है, उनमें नरेंद्र चौहान, विनोद, आरटीओ कर्मचारी अंकित चिंतामन, गजेंद्र, नितिन, शंकर प्रजापत और पवन शामिल हैं। एक अन्य व्यक्ति की पहचान की प्रक्रिया जारी है।
भ्रष्टाचार की पड़ताल कर रहे पत्रकार पर हमला, अस्पताल से आया पहला बयान
हमले में घायल पत्रकार हेमंत शर्मा ने अस्पताल में रहते हुए अपने पहले बयान में बताया कि वे कई दिनों से आरटीओ कार्यालय में फैल रहे भ्रष्टाचार की लगातार रिपोर्टिंग कर रहे थे। इसके चलते दलाल और कुछ कर्मचारी पहले से ही नाराज़ थे और मौका मिलते ही उन पर हमला कर दिया गया। उन्होंने बताया कि आरटीओ में प्रवेश करते ही एक होमगार्ड जवान ने अचानक मारपीट शुरू की और देखते ही देखते कई लोग भीड़ बनाकर टूट पड़े।

चेन, मोबाइल और कैमरा लूटा, 25 लोगों ने घेरा
हेमंत शर्मा ने कहा कि हमलावरों ने उनकी सोने की चेन छीन ली, कैमरा तोड़ दिया और उन्हें बुरी तरह घायल किया। उनका आरोप है कि करीब 25 लोगों ने मिलकर उन पर जानलेवा हमला करने की कोशिश की। उन्होंने यह भी संकेत दिया कि इस पूरे घटनाक्रम में कुछ आरटीओ अधिकारियों की भूमिका की जांच की जानी चाहिए, क्योंकि हमला सुनियोजित लग रहा था।
प्रदेशभर में निंदा, मुख्यमंत्री से कार्रवाई की माँग
पत्रकारों पर हुए इस हमले की खबर फैलते ही पूरे प्रदेश में नाराजगी की लहर दौड़ गई। पत्रकार संगठनों ने मुख्यमंत्री मोहन यादव से कठोर कार्रवाई की मांग की है। कांग्रेस ने भी इस घटना को प्रदेश की कानून व्यवस्था की विफलता बताते हुए कहा कि आरटीओ कार्यालय दलालों का गढ़ बन गया है, जहाँ आम नागरिक तक सुरक्षित नहीं हैं।
कैमरामैन का खुलासा: “अंदर खींचकर कहा—आज इनकी पत्रकारिता खत्म कर देते हैं”
कैमरामैन राजा खान, जो उस समय रिपोर्टिंग टीम के साथ थे, उन्होंने बताया कि हमले के दौरान दलालों ने उनका मोबाइल फोन, स्मार्टवॉच और चेन भी छीन ली। उन्होंने कहा कि हमलावर चिल्ला रहे थे कि पत्रकारों को बाहर मत निकलने दो। राजा खान के अनुसार, एक व्यक्ति ने पत्थर से हेमंत शर्मा को मारने की कोशिश तक की, लेकिन वह बच गए। जब भीड़ ने उन्हें रिकॉर्डिंग करते देखा, उन पर भी हमला किया गया।
लंबे समय से चला आ रहा था भ्रष्टाचार का खुलासा, दलाल थे नाराज
हेमंत शर्मा और राजा खान काफी समय से आरटीओ कार्यालय में फैले भ्रष्टाचार, दलाली और अवैध वसूली की पोल खोल रहे थे। उनकी लगातार रिपोर्टिंग से कई दलाल उनकी कवरेज से असंतुष्ट थे और मौके का इंतजार कर रहे थे। बताया जा रहा है कि जैसे ही वे अधिकारियों के बयान लेने पहुंचे, आरोपियों ने एकजुट होकर हमला कर दिया।
FIR की प्रक्रिया तेज, पुलिस CCTV और बयानों से मिलाएगी सबूत
हमले के बाद दोनों पत्रकारों ने तेजाजी नगर पुलिस थाने में शिकायत दर्ज कराई। पुलिस ने गंभीरता को देखते हुए तुरंत एफआईआर दर्ज की। CCTV फुटेज, प्रत्यक्षदर्शियों और पीड़ितों के बयान के आधार पर आरोपी की पहचान की जा रही है। पुलिस ने आश्वासन दिया है कि हमलावरों पर कड़ी कार्रवाई की जाएगी।