भोपाल: मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल में मंगलवार को 51वीं राष्ट्रीय बाल विज्ञान प्रदर्शनी 2024-25 का भव्य शुभारंभ हुआ। स्कूल शिक्षा मंत्री उदय प्रताप सिंह ने आरसीवीपी नरोन्हा प्रशासन अकादमी में इस पांच दिवसीय आयोजन का उद्घाटन किया। यह प्रदर्शनी 26 दिसंबर से 30 दिसंबर तक चलेगी, जिसमें देशभर से आए बाल वैज्ञानिक अपनी प्रतिभा का प्रदर्शन करेंगे।
इस राष्ट्रीय स्तर की प्रदर्शनी का आयोजन राष्ट्रीय शैक्षिक अनुसंधान और प्रशिक्षण परिषद (NCERT), नई दिल्ली के सहयोग से किया जा रहा है। राज्य शैक्षिक अनुसंधान एवं प्रशिक्षण परिषद (SCERT) और लोक शिक्षण संचालनालय, मध्य प्रदेश इसके स्थानीय आयोजक हैं। इस आयोजन में वे छात्र शामिल हुए हैं, जिनके मॉडल जिला और राज्य स्तर की प्रतियोगिताओं में सर्वश्रेष्ठ चुने गए हैं।
प्रदर्शनी का मुख्य विषय और उद्देश्य
इस वर्ष की प्रदर्शनी का केंद्रीय विषय “विज्ञान और प्रौद्योगिकी के माध्यम से स्वास्थ्य और कल्याण” रखा गया है। इसका मुख्य उद्देश्य छात्रों को विज्ञान के माध्यम से स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं का समाधान खोजने और इस क्षेत्र में नवाचार के लिए प्रेरित करना है।
प्रदर्शनी को पांच उप-विषयों में बांटा गया है, जिनमें शामिल हैं:
1. स्वास्थ्य और कल्याण के लिए पारिस्थितिकी तंत्र को समझना।
2. स्वास्थ्य और पोषण को बढ़ावा देना।
3. स्वास्थ्य और सामाजिक सुरक्षा।
4. पारंपरिक ज्ञान प्रणालियों के माध्यम से स्वास्थ्य।
5. तकनीकी नवाचार के माध्यम से स्वास्थ्य।
देशभर से जुटे नन्हे वैज्ञानिक
इस प्रतिष्ठित विज्ञान मेले में 28 राज्यों और 8 केंद्र शासित प्रदेशों से लगभग 400 बाल वैज्ञानिक और उनके मार्गदर्शन के लिए करीब 150 शिक्षक भाग ले रहे हैं। ये छात्र प्रदर्शनी में कुल 144 चयनित वैज्ञानिक मॉडल प्रस्तुत करेंगे। इन मॉडलों के माध्यम से वे स्वास्थ्य और कल्याण से जुड़े विभिन्न पहलुओं पर अपने अभिनव विचार और समाधान पेश करेंगे।
उद्घाटन समारोह में गणमान्य उपस्थिति
उद्घाटन समारोह में स्कूल शिक्षा मंत्री उदय प्रताप सिंह के अलावा कई अन्य गणमान्य व्यक्ति भी मौजूद रहे। इनमें स्कूल शिक्षा विभाग की प्रमुख सचिव रश्मि अरुण शमी, लोक शिक्षण आयुक्त अंशुमान सिंह और एससीईआरटी के निदेशक धनराजू एस. शामिल थे। इसके अतिरिक्त, एनसीईआरटी, नई दिल्ली के अधिकारी भी इस अवसर पर उपस्थित रहकर छात्रों का उत्साहवर्धन किया। यह प्रदर्शनी छात्रों को अपनी वैज्ञानिक सोच और रचनात्मकता को प्रदर्शित करने के लिए एक महत्वपूर्ण राष्ट्रीय मंच प्रदान करती है।