ज्य संगठन चुनाव के बाद तय होगा भाजपा का राष्ट्रीय अध्यक्ष, यूपी पर भी चल रही चर्चा

ज्य संगठन चुनाव : भाजपा में नए राष्ट्रीय अध्यक्ष के चुनाव को लेकर बातचीत तेज हो गई है। मध्य जुलाई तक राज्यों में संगठन चुनाव पूरे किए जा रहे हैं। सोमवार को मिजोरम और पुदुचेरी में चुनाव हो चुका है, जबकि हिमाचल, उत्तराखंड, महाराष्ट्र, आंध्रप्रदेश और तेलंगाना में नामांकन हुआ है। मंगलवार को मध्यप्रदेश, पश्चिम बंगाल, दमन-दीव और लद्दाख में नामांकन होगा।

इसके बाद राष्ट्रीय अध्यक्ष के नाम पर फैसला लिया जाएगा। उत्तर प्रदेश में भी नए अध्यक्ष के नाम पर तीन दिनों से चर्चा चल रही है। सूत्रों के मुताबिक, अगले दो दिनों में 25 राज्यों को नया अध्यक्ष मिल सकता है। प्रधानमंत्री की पांच देशों की यात्रा से पहले यूपी, एमपी और गुजरात में भी नए अध्यक्ष तय किए जा सकते हैं। यात्रा के बाद राष्ट्रीय अध्यक्ष पर फैसला होगा।

इन राज्यों में हुआ कार्यकारी अध्यक्ष पद का नामांकन

सोमवार को उत्तराखंड में महेंद्र भट्ट, हिमाचल प्रदेश में राजीव बिंदल, आंध्रप्रदेश में पीवीएन माधवन, तेलंगाना में रामचंद्र राव और महाराष्ट्र में रवि चव्हाण ने प्रदेश अध्यक्ष पद के लिए नामांकन किया। चूंकि इन पदों के लिए केवल एक-एक नामांकन हुआ है, इसलिए इन सभी का अध्यक्ष बनना तय माना जा रहा है। मंगलवार को इसकी आधिकारिक घोषणा की जाएगी। वहीं, मिजोरम में डॉ. के. बैइचुआ और पुडुचेरी में डी.पी. रामालिंगम को प्रदेश अध्यक्ष चुना गया है।

प्रदेश अध्यक्ष पद के लिए आज इन राज्यों में नामांकन प्रक्रिया

इन सात राज्यों के अलावा चार और राज्यों – मध्य प्रदेश, पश्चिम बंगाल, दमन और दीव और लद्दाख में मंगलवार को अध्यक्ष पद के लिए नामांकन होगा। इन राज्यों में नए अध्यक्ष के नाम की घोषणा बुधवार को की जाएगी। पार्टी की कोशिश है कि बुधवार को उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश और गुजरात जैसे बड़े राज्यों में भी अध्यक्ष पद के लिए नामांकन करवा लिया जाए। इन राज्यों को लेकर पार्टी नेताओं की बैठकें चल रही हैं।

यूपी पर अंतिम निर्णय के बाद खुलेगा राष्ट्रीय अध्यक्ष का पत्ता

भाजपा की योजना है कि जुलाई के बीच और संसद के मानसून सत्र से पहले नए राष्ट्रीय अध्यक्ष के नाम पर सहमति बना ली जाए। पार्टी सूत्रों के अनुसार, राष्ट्रीय अध्यक्ष के चुनाव से पहले उत्तर प्रदेश को लेकर फैसला ज़रूरी है। क्योंकि यूपी में कई अहम बदलाव किए जाने हैं, इसलिए इस पर अलग-अलग स्तर पर चर्चा चल रही है। पार्टी नेतृत्व इस पर गंभीरता से विचार कर रहा है ताकि किसी भी फैसले से संगठन और चुनावी रणनीति पर असर न पड़े। यूपी के बाद ही राष्ट्रीय अध्यक्ष के नाम पर अंतिम मुहर लगाई जाएगी।