कांग्रेस का नव संकल्प शिविर: मांडू में दो दिवसीय प्रशिक्षण में 12 सत्र, नेताओं से विधायकों को मिलेगा राजनीतिक और रणनीतिक मार्गदर्शन

भारतीय जनता पार्टी के बाद अब मध्य प्रदेश कांग्रेस ने भी अपने विधायकों के लिए एक विशेष प्रशिक्षण शिविर की शुरुआत कर दी है। कांग्रेस ने इस दो दिवसीय शिविर को “नव संकल्प शिविर” नाम दिया है, जो धार जिले के ऐतिहासिक और शांत वातावरण वाले मांडू क्षेत्र में 21 और 22 जुलाई को आयोजित किया गया। इस शिविर का उद्देश्य कांग्रेस विधायकों को राजनीतिक, संवैधानिक, मीडिया और संगठन से जुड़े मामलों में दक्ष बनाना है।

ध्वजारोहण से हुआ शिविर का शुभारंभ, आदिवासी परंपरा से हुआ स्वागत

शिविर की शुरुआत ध्वजारोहण के साथ हुई, जिसमें प्रदेश कांग्रेस प्रभारी हरीश चौधरी, प्रदेश अध्यक्ष जीतू पटवारी और नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार ने सहभागिता की। कांग्रेस सेवादल की टीम ने पूरे कार्यक्रम में सहयोग किया। शिविर में पहुंचे 66 विधायकों का स्वागत पारंपरिक आदिवासी रीति-रिवाजों से किया गया। शिविर की पूरी कमान नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार के हाथों में रही, जिन्होंने व्यवस्थाओं को बखूबी संभाला।

वरिष्ठ नेता और विशेषज्ञ देंगे 12 विषयों पर गहन मार्गदर्शन

इन दो दिनों के भीतर लगभग 10 से 12 महत्वपूर्ण सत्र आयोजित किए जा रहे हैं, जिनमें वरिष्ठ कांग्रेस नेता और विषय विशेषज्ञ विधायकों को रणनीतिक प्रशिक्षण देंगे। इनमें मुख्य रूप से राजनीतिक रणनीति, मीडिया हैंडलिंग, संविधानिक अधिकार, संगठनात्मक मजबूती, और विपक्ष की भूमिका जैसे विषय शामिल हैं। सत्रों का उद्देश्य विधायकों को सड़क से लेकर विधानसभा तक सरकार का प्रभावी विरोध करने की रणनीति सिखाना है।

फर्जी मामलों से बचाव और कानून का ज्ञान देंगे विवेक तन्खा

पहले दिन वरिष्ठ अधिवक्ता और राज्यसभा सांसद विवेक तन्खा ने विधायकों को संबोधित किया। उन्होंने बताया कि फर्जी मुकदमों और राजनीतिक बदले की भावना से प्रेरित जांच एजेंसियों के दुरुपयोग से कैसे संवैधानिक ढंग से निपटा जा सकता है। उनका सत्र विधायकों को उनके अधिकारों की गहराई से जानकारी देने पर केंद्रित रहा।

कमलनाथ ने साझा किया प्रदेश का आर्थिक दृष्टिकोण

पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने वर्चुअल माध्यम से एक विशेष सत्र को संबोधित किया। उन्होंने “मध्य प्रदेश का भविष्य और आर्थिक नीति” विषय पर बोलते हुए राज्य की वर्तमान आर्थिक स्थिति, रोजगार, निवेश और संसाधनों के प्रबंधन पर कांग्रेस की सोच रखी। उन्होंने विधायकों से आह्वान किया कि वे जनता से जुड़े आर्थिक मुद्दों को प्रमुखता से उठाएं।

पवन खेड़ा ने बताया नरेटिव बिल्डिंग और मीडिया मैनेजमेंट का मंत्र

दोपहर बाद के सत्र में कांग्रेस मीडिया विभाग के प्रमुख पवन खेड़ा ने संचार रणनीति पर प्रकाश डाला। उन्होंने बताया कि कैसे मीडिया के ज़रिए कांग्रेस की नीतियों और विचारों को प्रभावी ढंग से प्रस्तुत किया जा सकता है। उन्होंने यह भी समझाया कि सोशल मीडिया, प्रेस ब्रीफिंग और पब्लिक नरेटिव कैसे पार्टी के पक्ष में मोड़ा जा सकता है।

भगवानदेव इसराणी ने दी विधायी प्रक्रिया से सरकार को घेरने की सीख

विधानसभा के पूर्व प्रमुख सचिव भगवानदेव इसराणी ने विधायकों को सिखाया कि कैसे वे विधानसभा में नियमों, ऑडिट रिपोर्ट और RTI जैसे औजारों का उपयोग करके सत्तारूढ़ पार्टी को घेर सकते हैं। उन्होंने बताया कि विपक्ष की असली ताकत उसकी विधायी समझ और तर्कों में होती है।

समूह चर्चाएं और मुद्दों पर रिपोर्ट तैयार करने की प्रक्रिया

शिविर में विधायकों को 10-10 के समूहों में बांटा गया। हर समूह को एक विषय दिया गया, जिसमें SC, ST, OBC, महिला एवं युवा विधायकों को शामिल किया गया। सभी ने आपसी संवाद के ज़रिए क्षेत्रीय समस्याओं, संगठन की मजबूती और नीति सुझावों पर विचार-विमर्श कर रिपोर्ट तैयार की, जिसे अंतिम सत्र में प्रस्तुत किया गया।

राहुल गांधी और खरगे वर्चुअल माध्यम से कर सकते हैं संबोधन

कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे और लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी में से कोई एक या दोनों नेता 21 या 22 जुलाई को वर्चुअली शिविर से जुड़कर विधायकों को मार्गदर्शन दे सकते हैं। यह सत्र कांग्रेस के “मिशन 2028” की रणनीति और संगठन निर्माण पर केंद्रित होगा।

दूसरे दिन अजय माकन देंगे विचारधारा पर मार्गदर्शन

शिविर के दूसरे दिन की शुरुआत वरिष्ठ नेता और राज्यसभा सांसद अजय माकन के सत्र से हुई। उन्होंने कांग्रेस की मूल विचारधारा, धर्मनिरपेक्षता, समावेशी विकास और संवैधानिक मूल्यों की व्याख्या की। उन्होंने बताया कि कैसे इन सिद्धांतों से जनता को फिर से जोड़ा जा सकता है।

डॉक्यूमेंट्री और डिजिटल ट्रेनिंग ने बढ़ाया उत्साह

दोपहर में एक विशेष डॉक्यूमेंट्री फिल्म दिखाई गई, जिसमें कांग्रेस की ऐतिहासिक यात्रा और संघर्ष को दर्शाया गया। इसके बाद सोशल मीडिया प्रमुख सुप्रिया श्रीनेत ने डिजिटल रणनीति और सोशल मीडिया की शक्ति पर व्यावहारिक ट्रेनिंग दी। उन्होंने बताया कि आज के समय में डिजिटल छवि कितनी अहम हो गई है और कैसे कांग्रेस के डिजिटल योद्धा अपनी बात रख सकते हैं।

विधायकों का खुला मंच: अनुभव और चुनौतियों की साझेदारी

दोपहर बाद का सत्र ओपन डायलॉग के रूप में रखा गया, जिसमें विधायकों ने अपने-अपने क्षेत्रों में सामने आने वाली समस्याएं, संगठनात्मक कमजोरियां और सरकार से संघर्ष के अनुभव साझा किए। इस संवाद से नेतृत्व को कई महत्वपूर्ण इनपुट मिले।

प्रेस कॉन्फ्रेंस के साथ हुआ समापन

शिविर का अंतिम सत्र प्रेस कॉन्फ्रेंस के रूप में आयोजित किया गया, जिसमें दो दिनों की चर्चा, निष्कर्ष और सुझावों की जानकारी मीडिया को दी गई। इसके साथ ही कांग्रेस का यह विशेष नव संकल्प शिविर संपन्न हुआ, जिसमें रणनीति, संवाद, संगठन और विचारधारा पर गहरा मंथन हुआ।