दिल्ली-NCR में ‘एयर इमरजेंसी’, AQI 470 पार होते ही GRAP-4 लागू, जानें क्या खुला और क्या रहेगा बंद

नई दिल्ली: राजधानी दिल्ली और एनसीआर में हवा की गुणवत्ता ‘गंभीर प्लस’ श्रेणी में पहुंचने के बाद हालात बेकाबू हो गए हैं। रविवार को दिल्ली का औसत वायु गुणवत्ता सूचकांक (AQI) 471 दर्ज किया गया, जिसके बाद वायु गुणवत्ता प्रबंधन आयोग (CAQM) ने तत्काल प्रभाव से ग्रेडेड रिस्पांस एक्शन प्लान (GRAP) का चौथा और आखिरी चरण लागू कर दिया है। इसके तहत दिल्ली-एनसीआर में कई नई और सख्त पाबंदियां लगा दी गई हैं।

आयोग ने स्थिति की गंभीरता को देखते हुए एक आपात बैठक की और GRAP-4 लागू करने का फैसला लिया। इन पाबंदियों का उद्देश्य प्रदूषण के स्तर को तुरंत नीचे लाना है, क्योंकि अगले कुछ दिनों तक हवा की गुणवत्ता में सुधार की कोई उम्मीद नहीं है।

GRAP-4 लागू: अब इन चीजों पर रहेगी रोक

GRAP के चौथे चरण के तहत लगाई गई पाबंदियां काफी सख्त हैं। इनका सीधा असर आम लोगों की आवाजाही और निर्माण कार्यों पर पड़ेगा:

वाहनों पर प्रतिबंध: दिल्ली में ट्रकों के प्रवेश पर पूरी तरह से रोक लगा दी गई है। हालांकि, आवश्यक सामान ले जाने वाले, CNG, और इलेक्ट्रिक ट्रकों को छूट दी गई है। इसके अलावा, दिल्ली में पंजीकृत मध्यम और भारी डीजल मालवाहक वाहनों के चलने पर भी प्रतिबंध रहेगा।

निजी गाड़ियों पर नियम: दिल्ली, गुरुग्राम, फरीदाबाद, गाजियाabad और गौतमबुद्ध नगर में BS-III पेट्रोल और BS-IV डीजल वाली कारों के चलने पर रोक लगा दी गई है।

कंस्ट्रक्शन पर बैन: सभी तरह के निर्माण और विध्वंस कार्यों पर रोक रहेगी। इसमें हाईवे, सड़कें, फ्लाईओवर, ओवरब्रिज और पावर ट्रांसमिशन लाइनों जैसे बड़े प्रोजेक्ट भी शामिल हैं।

स्कूल-दफ्तरों के लिए एडवाइजरी

CAQM ने एनसीआर की राज्य सरकारों को स्कूलों और दफ्तरों को लेकर भी अहम सलाह दी है। राज्य सरकारें कक्षा 6 से 9 और 11वीं के लिए फिजिकल क्लास बंद करके ऑनलाइन पढ़ाई का फैसला ले सकती हैं। इसके अलावा, 50% कर्मचारियों के लिए वर्क फ्रॉम होम (Work From Home) लागू करने पर भी विचार करने को कहा गया है।

क्यों बिगड़े हालात, पराली बनी बड़ी वजह

दिल्ली की हवा के इस ‘सुपर इमरजेंसी’ वाले स्तर पर पहुंचने के पीछे दो मुख्य कारण हैं। पहला, मौसम की प्रतिकूल परिस्थितियां जैसे शांत हवाएं और कम तापमान, जिससे प्रदूषक तत्व एक ही जगह जमा हो गए हैं। दूसरा और सबसे बड़ा कारण पंजाब और हरियाणा में पराali जलाने की घटनाओं में भारी बढ़ोतरी है।

आंकड़ों के अनुसार, रविवार को दिल्ली के प्रदूषण में पराली के धुएं की हिस्सेदारी बढ़कर 35% तक पहुंच गई, जो इस सीजन में अब तक सबसे ज्यादा है। शनिवार को यह 26% थी।

NCR के अन्य शहरों का भी हाल बेहाल

प्रदूषण का कहर सिर्फ दिल्ली तक ही सीमित नहीं है। एनसीआर के दूसरे शहरों में भी AQI ‘गंभीर’ या ‘गंभीर प्लस’ श्रेणी में बना हुआ है। रविवार शाम 4 बजे के आंकड़ों मुताबिक, आनंद विहार में AQI 484, मुंडका में 470, वजीरपुर में 467 और रोहिणी में 462 दर्ज किया गया।

अगले कुछ दिन राहत नहीं

मौसम विभाग और प्रदूषण निगरानी एजेंसियों का अनुमान है कि अगले دو दिनों तक हवा की गुणवत्ता ‘गंभीर’ या ‘गंभीर प्लस’ श्रेणी में ही बनी रह सकती है। CAQM ने लोगों, खासकर बच्चों, बुजुर्गों और सांस या दिल की बीमारियों से पीड़ित लोगों को घर से बाहर निकलने से बचने की सलाह दी ਹੈ।