स्वतंत्र समय, नई दिल्ली
चुनाव आयोग में इलेक्टोरल बॉन्ड (electoral bond) का सारा डाटा अपनी वेबसाइट पर जारी कर दिया है। 763 पेजों की दो लिस्ट अपलोड की गई है। एक लिस्ट में बंद खरीदने वालों की जानकारी है दूसरी में राजनीतिक दलों को मिले बॉन्ड की डिटेल है। इलेक्टोरल बांड के सबसे बड़े दानदाताओं में फ्यूचर गेमिंग एंड होटल सर्विसेज का नाम सामने आ रहा है। दूसरे नंबर पर मेगा इंजीनियरिंग एंड इंफ्रास्ट्रक्चर का नाम है। एक ने 1368 करोड़ तो दूसरे ने 980 करोड रुपए दिए हैं।
electoral bond से राजनीतिक दलों को दान
आयोग द्वारा जारी आंकड़ों के मुताबिक electoral bond के जरिए राजनीतिक दलों को दान देने वालों में ग्रासिम इंडस्ट्रीज, मेघा इंजीनियरिंग, पिरामल एंटरप्राइजेज शामिल है इसमें टोरेंट पावर, भारती एयरटेल, डीएलएफ कमर्शियल डेवलपर्स, वेदांता लिमिटेड का भी नाम है। इसके अलावा सूची में चुनावी बांड के खरीददारों में अपोलो टायर्स, लक्ष्मी मित्तल, एडलवाइज ,पीवीआर, केवेंटर सुला वाइन, वेलस्पन, सन फार्मा के नाम शामिल है। इन बॉन्ड के जरिए भाजपा, कांग्रेस अन्नाद्रमुक , शिवसेना वाईएसआर कांग्रेस को धन मिला। सूची में टीएमसी कांग्रेस , राजद, आप और सपा के भी नाम है।सुप्रीम कोर्ट ने आयोग को 15 मार्च तक के डाटा सवार्जानिक करने का आदेश दिया था। इससे पहले स्टेट बैंक ऑफ इंडिया के अध्यक्ष दिनेश कुमार ने सुप्रीम कोर्ट में एफिडेविट फाइल किया। इसमें बताया गया कि सुप्रीम कोर्ट के 11 मार्च के निर्देश के मुताबिक इलेक्टोरल बॉन्ड से जुड़ी उपलब्ध जानकारी दे दी गई है।
भाजपा को उद्योगपतियों के चंदे की लिस्ट…
- 250 करोड़ -डीएलएफ (2019)
- 450 करोड़ -संजीव गोयनका (2021)
- 500 करोड़ -फ्यूचर गेमिंग (2021)
- 500 करोड़ -फ्यूचर गेमिंग (2021)
- 150 करोड़ -एयरटेल (2021)
- 500 करोड़ -आर्सेलर मित्तल (2021)
- 200 करोड़ -आर्सेलर मित्तल (2021)
- 500 करोड़ -एस्सार गु्रप (2022)
- 500 करोड़ -आर्सेलर मित्तल (2022)
- 502.5 करोड़ -अदार पूनावाला (2022)
- 250 करोड़ -एयरटेल (2022)
- 200 करोड़ – जीएमआर गु्रप (2022)