ऊर्जा मंत्री के गृह जिले ग्वालियर में ही घंटो तक बिजली गुल होने से लोग परेशान है। बिजलीं कंपनी की तगड़ी वसूली करती है उसके बाद भी बिजली कटौति की मार से पूरा प्रदेश परेशान हो रहा है। इसका नमुना यह देखा जा सकता है कि ग्वालियर के जयारोग्य अस्पताल के कार्डियक सेंटर के आइसीयू में बिजली चली गई। तो डेढ़ घंटे मरीज बिजली जाने के कारण परेशान होते रहे। सबसे बड़ी विडंबना तो यह हो गई कि यहां के सरकारी सबसे बड़े अस्पताल के आईसीयू के उपकरण तक बिजली गुल होने से बंद पड़ गए, जिससे मरीजों को परेशानियों का सामना करना पड़ा। हालांकि उन्हें कैथ लैब के आइसीयू में शिफ्ट किया गया था। लेकिन मरीजो को ही बिजली के लिए घंटो तक तड़फना पड़ा।
तीन गंभीर मरीजों को किया गया शिफ्ट
जयारोग्य अस्पताल के कार्डियक सेंटर के आइसीयू में अचानक बिजली आपूर्ति बाधित होने से मरीजों को परेशानी का सामना करना पड़ा। बिजली बंद होने की वजह केबल फाल्ट थी, जो लगभग डेढ़ घंटे तक ठीक नहीं हो सकी। इस तकनीकी खामी के चलते आइसीयू में भर्ती तीन गंभीर मरीजों की हालत को देखते हुए उन्हें तुरंत कैथ लैब आइसीयू में शिफ्ट किया गया। इससे साबित होता है कि ऊर्जा मंत्री के गृह जिले में इतनी लापरवाही बरती जा रही है तो अन्य जिलों के क्या हाल होंगे।
अस्पताल में नहीं है जनरेटर
कार्डियक आइसीयू की बिजली गुल होने की सूचना मिलने के बाद पुरे अस्पताल में जीवनरक्षक उपकरण बंद हो गए। इसके बाद मरीजों के परिजनों के बीच अफरा-तफरी मच गई और मरीज के परिजन अपनों को बचाने के लिए इधऱ-उधर सहायता मांगते दिखे।
बिजली के वैकल्पिक व्यवस्था के बिना अस्पताल
प्रदेश में जब सरकारी अस्पतालों में तमाम तरह की सुविधाएं बढ़ाने के दांवे किए जा रहै है। तब प्रदेश में करोड़ो रूपए का स्वास्थ्य बजट बौना नजर आता है जब एक सरकारी अस्पताल के आईसीयू में मरीज बिजली की वैकल्पिक व्यवस्था ना होने पर उसका जीवन दांव पर लग गया।