रतलाम के कई गांवों मे सोयाबीन की फसल पूरी तरह से खराब हो चुकी है। फसलों पर यैलो मोजेक वायरस के कारण किसानों को भारी नुकसान हुआ है। इसकी वजह है, पहले तो अतिवृष्टि और अब बारिश की लंबी खेंच से सोयाबीन खराब हो गई है। जिसे लेकर सोमवार को भारतीय किसान संघ के बैनर तले खराब सोयाबीन की फसल हाथों में लेकर किसान कलेक्ट्रेट पहुंचे।
जहां उन्होंने नारेबाजी कर खराब फसलों के एवज में मुआवजा देने की मांग की है। साथ ही मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव के नाम डिप्टी कलेक्टर प्राची हरित को ज्ञापन सौंपा। आपको बता दें कि रतलाम के कई क्षेत्र जैसे पिपलौदा, सैलाना, जावरा, आलोट में किसानों ने खरीफ के सीजन में सोयाबीन बोई थी। लेकिन यहां किसी क्षेत्र में पहले (बोवनी के समय) अतिवृष्टि हो गई और अब फसलों में येलो मोजेक वायरस के कारण भारी नुकसान हुआ है जिसके चलते कई क्षेत्रो में किसानों ने खेतों में खराब फसलों पर ट्रेक्टर चला दिया है।
गौरतलब है कि किसानों ने ज्ञापन में ये भी बताया कि नकली बीज और दवाओं के कारण फसलों को भारी नुकसान पहुंचा है। जिनमें से अतिवृष्टि और कम बारिश भी प्रमुख कारणों में से एक है। रतलाम के गांव धनेसरा, पंचेवा, हतनारा और बोदिना जैसे कई गांवों में सोयाबीन की फसल खराब खरपतवार नाशक के कारण नष्ट हो गई। किसानों ने प्रशासन से इसकी पूरी जांच कर दुकानदारों पर कार्यवाही की मांग की है। किसानों ने सोयाबीन के खराब होने पर मुआवजे की मांग की है।