Gold-Silver Price: एक बार फिर गिरा सोने का भाव, चांदी के दामों में भी आई नरमी, देखें आपके शहर में क्या है नया रेट

31 अक्टूबर 2025, शुक्रवार को सोने-चांदी के दामों में एक बार फिर गिरावट देखने को मिली है। बीते दिन आई मामूली तेजी के बाद आज निवेशकों को झटका लगा है। अंतरराष्ट्रीय बाजार में डॉलर की मजबूती और अमेरिकी फेडरल रिजर्व के हालिया फैसलों ने भारतीय सर्राफा बाजार की चमक कुछ फीकी कर दी है। पिछले कुछ दिनों से सोने की कीमतों में उतार-चढ़ाव जारी है और यह अस्थिरता निवेशकों को सतर्क बना रही है। घरेलू बाजार में गोल्ड और सिल्वर दोनों के भाव नीचे फिसले हैं।

दिल्ली में सोना ₹200 सस्ता, घटा निवेशकों का उत्साह

राजधानी दिल्ली में आज 24 कैरेट सोने का भाव ₹1,21,620 प्रति 10 ग्राम और 22 कैरेट सोना ₹1,11,490 प्रति 10 ग्राम दर्ज किया गया है। कल की तुलना में यह लगभग ₹200 प्रति 10 ग्राम की गिरावट है। विशेषज्ञों का कहना है कि फेडरल रिजर्व की नीति और डॉलर इंडेक्स में मजबूती के कारण निवेशकों का रुझान फिलहाल सोने से थोड़ा कम हुआ है। निवेशक आगे की आर्थिक नीतियों का इंतज़ार कर रहे हैं, जिससे बाजार में फिलहाल अनिश्चितता और सुस्ती का माहौल बना हुआ है।

मुंबई, चेन्नई और कोलकाता में भी घटी चमक

देश की आर्थिक राजधानी मुंबई में भी सोने की कीमतों में गिरावट दर्ज की गई है। यहां 24 कैरेट सोना ₹1,21,470 और 22 कैरेट सोना ₹1,11,340 प्रति 10 ग्राम पर चल रहा है।
चेन्नई, कोलकाता और हैदराबाद में भी यही भाव देखने को मिल रहे हैं। देशभर के प्रमुख सर्राफा बाजारों में लगभग एक जैसी दरें बनी हुई हैं, जो इस बात का संकेत हैं कि अंतरराष्ट्रीय बाज़ार के रुझान का सीधा असर अब भारतीय बाजारों में भी साफ दिखाई दे रहा है।

ब्याज दरों और वैश्विक तनाव में नरमी का असर

अमेरिकी फेडरल रिजर्व ने हाल ही में अपनी प्रमुख ब्याज दरों में 0.25% की कटौती की थी, लेकिन चेयरमैन जेरोम पॉवेल ने आगे और रेट कट की संभावना को नकार दिया। इस बयान के बाद अंतरराष्ट्रीय बाजार में डॉलर मजबूत हुआ है, जिससे सोने की सेफ-हेवन डिमांड (सुरक्षित निवेश की मांग) कमजोर पड़ी है। इसी के साथ, अमेरिका और चीन के बीच लंबे समय से चल रहे ट्रेड वॉर (व्यापार युद्ध) में भी अब नरमी के संकेत दिखने लगे हैं। अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने चीन पर लगाए गए टैरिफ को 57% से घटाकर 47% करने का निर्णय लिया है।

वैश्विक स्थिरता से घट रही सेफ-हेवन डिमांड

साउथ कोरिया में हाल ही में हुई अमेरिका-चीन वार्ता में “ट्रेड और रेयर अर्थ एलिमेंट्स” को लेकर आपसी समझौते की संभावनाएं बनी हैं। इस बैठक के बाद वैश्विक बाजार में स्थिरता लौटी है, जिससे निवेशकों ने सोने से ध्यान हटाकर शेयर बाजार और अन्य निवेश विकल्पों की ओर रुख किया है। इसके चलते अंतरराष्ट्रीय स्तर पर सोने की मांग में हल्की गिरावट और कीमतों में नरमी आई है। भारतीय बाजार भी इसी ट्रेंड का अनुसरण कर रहा है।

विशेषज्ञों की राय

वित्त विशेषज्ञों का मानना है कि फिलहाल सोने में लंबी अवधि का निवेश करने से पहले निवेशकों को कुछ और दिन रुकना चाहिए। डॉलर की चाल और अमेरिकी बॉन्ड यील्ड में उतार-चढ़ाव का असर आने वाले हफ्तों में भी देखने को मिल सकता है। हालांकि, कई विश्लेषकों का यह भी मानना है कि साल के अंत तक अगर वैश्विक आर्थिक अनिश्चितता बढ़ती है तो सोना एक बार फिर से सुरक्षित निवेश का केंद्र बन सकता है और कीमतों में तेज उछाल देखने को मिलेगा।