कुदरत का कहर! केदारनाथ पैदल मार्ग पर आया भारी मलबा, एक की मौत, रोकी गई यात्रा

उत्तराखंड की केदार घाटी में लगातार हो रही मूसलाधार बारिश ने केदारनाथ यात्रा को गंभीर रूप से प्रभावित किया है। बीते कुछ दिनों से हो रही लगातार वर्षा के कारण गौरीकुंड से केदारनाथ धाम तक के 19 किलोमीटर लंबे पैदल मार्ग पर जंगलचट्टी क्षेत्र में भूस्खलन और मलबे की घटनाएं सामने आई हैं। बारिश के कारण बरसाती नालों में मलबा और भारी पत्थरों के बहाव से रास्ता आंशिक रूप से अवरुद्ध हो गया है।

भूस्खलन से जानमाल का नुकसान

अब तक की जानकारी के अनुसार, मलबे की चपेट में आने से एक श्रद्धालु की दर्दनाक मौत हो गई है, जबकि दो अन्य श्रद्धालु घायल हो गए हैं। इस घटना के बाद स्थानीय प्रशासन ने तत्काल प्रभाव से सोनप्रयाग से केदारनाथ धाम तक की पैदल यात्रा को अग्रिम आदेशों तक स्थगित कर दिया है। श्रद्धालुओं की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए यह कदम उठाया गया है।

फंसे यात्रियों का रेस्क्यू जारी

जंगलचट्टी क्षेत्र, जो कि भूस्खलन संभावित क्षेत्र के रूप में चिन्हित है, वहां कई श्रद्धालु फंसे हुए हैं। पुलिस और बचाव दल की सहायता से उन्हें सुरक्षित स्थानों पर भेजा जा रहा है। पुलिस द्वारा स्थानीय स्तर पर सुरक्षा व्यवस्था कड़ी कर दी गई है और यात्रियों को नीचे की ओर लाया जा रहा है।

मौसम विभाग का येलो अलर्ट

मौसम विभाग ने केदारनाथ घाटी सहित आसपास के क्षेत्रों में पूरे सप्ताह के लिए ‘येलो अलर्ट’ जारी किया है। बारिश के ऐसे ही हालात बने रहने की संभावना है, जिससे रास्तों की स्थिति और भी बिगड़ सकती है। प्रशासन ने लोगों से अपील की है कि वे यात्रा स्थलों पर अनावश्यक न जाएं और मौसम पूरी तरह सामान्य होने तक यात्रा स्थगित रखें।

पुलिस की श्रद्धालुओं से अपील

रुद्रप्रयाग के पुलिस अधीक्षक अक्षय कोंडे ने श्रद्धालुओं से अपील करते हुए कहा है कि वे जहां हैं, वहीं सुरक्षित रहें। साथ ही, वे निकटवर्ती होटलों या आश्रयों में ठहर कर मौसम में सुधार का इंतजार करें। किसी भी आपात स्थिति में स्थानीय प्रशासन या पुलिस से संपर्क करें।