हिन्दू नववर्ष को स्वतंत्रता दिवस ,गणतंत्र दिवस की तरह धूमधाम से मनाने राष्ट्रीय पर्व घोषित किये जाने की मांग को लेकर, मुस्लिम राष्ट्रीय मंच गौ सेवा प्रकोष्ठ राष्ट्रीय सह संयोजक सैयद शफाकत हुसैन कादरी ने लिखा प्रधानमंत्री को पत्र
मुकेश सेन/गंजबासौदा-भारतीय नववर्ष को राष्ट्रीय पर्व घोषित करने की माग करते हुऐ मुस्लिम राष्ट्रीय मंच गौ सेवा प्रकोष्ठ राष्ट्रीय सह संयोजक सैयद शफाकत हुसैन कादरी ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को पत्र लिखकर बताया यह दिवस सृष्टि रचना का प्रथम दिवस तो है ही इसी दिन चैत्र शुक्लपक्ष प्रतिपदा से एक अरब 97 करोड़ 39 लाख 49 हजार 1223 साल पहले इसी दिन को ब्रह्मा जी ने सृष्टि का सृजन किया था |
सम्राट विक्रमादित्य ने 2079 वर्ष पहले इसी दिन सारे संसार मे राज्य स्थापित कर विक्रम संवत की शुरुआत की |
इसके राष्ट्रीय पर्व घोषित होने से स्कूलो के बच्चे जान पाऐगै कि भारतवर्ष ने भी सारे विश्व पर राज किया है । लंका में राक्षसों का संहार कर अयोध्या लौटे मर्यादा पुरुषोत्तम भगवान राम का राज्याभिषेक इसी दिन किया गया | और भगवान श्रीराम का राज्य भी सारे संसार मे फैला हुआ था । जिसके प्रमाण जर्मनी जापान इग्लैड यूरोप सहित पूरे संसार मे आज भी दिखाई पडते है । शक्ति और भक्ति के नौ दिन अर्थात नवरात्र स्थापना का पहला दिन यही है | प्रभु राम के जन्मदिन रामनवमी से पूर्व नौ दिन उत्सव मनाने का प्रथम दिन | शालिवाहन संवत्सर का प्रारंभ दिवस है महाराजा विक्रमादित्य की भांति शालिवाहन ने भी हूणों को परास्त कर दक्षिण भारत में श्रेष्ठतम राज्य स्थापित करने हेतु इसी दिन का चयन किया | समाज को अच्छे मार्ग पर ले जाने के लिए स्वामी दयानंद सरस्वती ने इसी दिन आर्य समाज की स्थापना की |
सिख परंपरा के द्वितीय गुरु अंगददेव का जन्म दिवस | सिंध प्रांत के प्रसिद्घ समाज रक्षक वरुणावतार संत झूलेलाल इसी दिन प्रकट हुए जिनको सिध पाकिस्तान के मुसलमान भी पीर मानते है । युगाब्द संवत्सर का प्रथम दिन, 5121वर्ष पूर्व युधिष्ठिर का राज्याभिषेक भी इसी दिन हुआ और महाराजा युधिष्ठर का राज भी सारे संसार मे था ।
सी दिन राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के संस्थापक डॉ. केशव राव बलिराम हेडगेवार का जन्मदिवस भी है | भारतीय नवव॔ष का प्राकृतिक महत्व भी है वसंत ऋतु का आरंभ वर्ष प्रतिपदा से ही होता है, जो उल्लास, उमंग, खुशी तथा चहुं ओर पुष्पों की सुगंध से भरी होती है |फसल पकने का प्रारंभ यानी किसान की मेहनत का फल मिलने का समय भी यही होता है 22 मार्च 2023 को पूरे हर्षोल्लास के साथ भारतीय नववर्ष मनाने के शासकीय आदेश भी जारी करे कि शासकीय आफिसो को सजाया जाऐ रात मे लाइटिग झालर लगाकर नव सम्वत्सर 2080 से राष्ट्रीय पर्व के रूप मे मनाया जाऐ जैसै हम स्वतंत्रता दिवस (15अगस्त ) और गणतंत्र दिवस ( 26 जनवरी) पूरे देश मे एक साथ धूमधाम से मनाते है उसी प्रकार शासकीय स्तर पर भी मनाया जाऐ ।