संसदीय क्षेत्र से तीन कैबिनेट मंत्री बनने के बाद झाबुआ जिले की राजनीति में भारी उथल-पुथल

दौलत भावसार, स्वतंत्र समय

झाबुआ जिले की राजनीति में भारी उथल-पुथल होने के साथ अब स्पट परिलक्षित होने लग गए हैं। मप्र में दो तिहाई बहुमत प्राप्त होने के बाद प्रदेश में सरकार का गठन और उसमें डॉ मोहन यादव के मुख्यमंत्री मंडल में आजादी के बाद पहली बार झाबुआ रतलाम संसदीय क्षेत्र से केबिनेट के रूप में तीन मंत्रियों को शामिल किए जाने से जहा संसदीय क्षेत्र की राजनीति में भारी परिवर्तन आया है। 3 केबिनेट मंत्री बनने के पहले संसदीय क्षेत्र एवं झाबुआ जिले की राजनीति में वन मेन शो अर्थात भाजपा के क्षेत्रिय सांसद का बोलबाला था।तीनो जिलो के प्राासनिक अधिकारी संासद के इाारो पर नाचते थे अब राजनीति में परिवर्तन होने के बाद सांसद का वह जादु कम होता नजर आ रहा है ?

झाबुआ जिले की राजनीति जनचर्चा का विषय है

संंसदीय क्षेत्र में लोकसभा में एक से अधिक दावेदार भाजपा में 2024 में मई जुन में होने वाले लोकसभा चुनाव को लेकर झाबुआ जिले की राजनीति को लेकर चर्चा शुरु हो गई है। साथ ही झाबुआ-आलीराजपुर-रतलाम संसदीय क्षेत्र में दोनों दलों में राजनैतिक सरगर्मिया तेज हो गई है। कांग्रेस की ओर से पूर्व सांसद कांतिलाल भूरिया और पूर्व विधायक जेवियर मेडा लोकसभा प्रत्यााी बनने की दावेदारी करते नजर आ रहे हैं। तो दूसरी ओर भाजपा में लोकसभा प्रत्यााी की दावेदारी हेतु एक से अधिक नाम उभर कर सामने आ रहे है जो इस प्रकार है झाबुआ जिले के भाजपा जिला अध्यक्ष भानु भूरिया ,रतलाम ग्रामीण के पूर्व विधायक दिलीप मकवाना,सेलाना की पूर्व विधायिका संगीता चारेल,अजजा मोर्चे के प्रदेा अध्यक्ष कलसिंग भाबोर, झाबुआ नगर पालिका के पूर्व अध्यक्ष पर्वत मकवाना एवं वर्तमान सांसद गुमानसिहं डामोर इस दौड़ में दिखाई दे रहे हैं। भाजपा के सभी प्रत्याशी अपने अपने स्तर पर संभागीय, भोपाली, दिल्ली के नेताओं तक दौड़ लगाकर अपना-अपना पक्ष रख कर अपनी दावेदारी जताते नजर आ रहे हैं। सूत्र बताते हैं कि आगामी लोकसभा चुनाव में संसदीय क्षेत्र के तीन केबिनेट मंत्री सुश्री निर्मला भूरिया, चेतन कयप और नागर सिंग जी की टिकट वितरण में अहम भूमिका रहेगी। ऐसा झाबुआ जिले के और संसदीय क्षेत्र के राजनीतिक गलियारों में जनचर्चा का विषय है?

पुलिस कप्तान जैन गए और शुक्ला आए

चुनाव के पूर्व अधिकारी और कर्मचारियों की अदला बदली का कार्यक्रम चालु है इसके तहत झाबुआ में पदस्थ आगम जैन पुलिस अधिक्षक का स्थांनातरण अन्य स्थान पर हो गया है उनके स्थान पर नवागत पुलिस अधिक्षक के रूप में श्री ाुक्ला झाबुआ पहुचकर आज पदस्थ पदभार ग्रहण करेगेंं। इसी प्रकार जिला आबकारी विभाग में भी तीन साल के चलते चुनाव आयोग के निर्देा पर तीन एडीएम श्री डंडीर ,श्री सिंगार और श्री रावत का झाबुआ जिले से तबादला हो गया है ।गुलाबी बिल्डिंग में चर्चा है कि आचार संहिता लगने के पूर्व कई अधिकारी यहा से रवाना हो सकते है ?

झाबुआ जिले में अजा सम्मेलन कई संदेह छोड़ गया

11 फरवरी 2024 केा झाबुआ जिला मुख्यालय पर स्थित हवाई पटटी गोपालपुरा पर अयोजित भाजपा अनुसूचित जनजाति मोर्चे का विााल सम्मेलन और उसमें देा के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की उपस्थिती झाबुआ जिला सहित आलिरापुर धार बडवानी खरगोन रतलाम कुालगढ बासवाडा गुजरात पंचमहल जिला के साथ साथ कई राज्यों में राजनीतिक दृटि से कई संदेा छोड गया । उक्त सम्मेलन में देा के मप्र सहित राजस्थान गुजरात और महाराट के अनुसूचित जनजाति समाज के कई राटिय स्तर के राजनेता पदाधिकारी ,केंद्रिय मंत्री और राज्यों के मंत्री सम्मिलित होकर एक नया इतिहास छोड गए है।इस सम्मेलन में प्रदेा के वर्तमान मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव ओैर पूर्व मुख्यमंत्री ािवराजसिंह चैहान ,भाजपा प्रदेा अध्यक्ष बीडी ार्मा ,प्रदेा संगठन महामंत्री हेतानंद ार्मा और अनुसूचित जनजाति मोर्चे के राटिय अध्यक्ष श्री उराव की उपस्थिती कार्यक्रम में चार चांद लगा गई।

…और अंत में

नवागत पुलिस अधिक्षक जो आज पदभार ग्रहण करेंगें के लिए आने वाले समय में सब से बडी चुनौति आने वाले समय में आयोजित होने वाले आदिवासी संस्कृति के प्रतिक भगौरिया हाट पर्वेा केा ाांतिपूर्वक सम्पन्न कराना । तो दूसरी ओर झाबुआ जिला के नौजवान युवा पीढी और कच्ची उम्र के युवा उडते पंजाब की तर्ज पर डग्स नाइटो गांचा अफीम चरस इंजेकन की लत से समय से पहले अपली जीवनलीला समाप्त करते आ रहे है और यह नो की खेप रतलाम ,गुजरात और इंदौर के मार्गो से झाबुआ पहुच रही है उनको नियंत्रित और कंटोल करना । क्योकि इस डग्स के नसे से झाबुआ नगर और जिले के कई युवाओ ने नो का ओवर डोस लेने पर अच्छे अच्छे परिवारो ने अपने प्राण खो दिए है। जो हर वर्ग के लिए चिंता का विाय है?