स्वतंत्र समय, इंदौर
इंदौर-पीथमपुर इकॉनोमिक कॉरिडोर क्षेत्र के किसानों ने रंगपंचमी पर मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव का आभार व्यक्त किया। किसानों ने अपनी मांग रखते हुए आग्रह किया था कि आगामी इंदौर-पीथमपुर इकॉनोमिक कॉरिडोर में उन्हें अधिकतम विकसित भूमि का आवंटन किया जाए। इसी क्रम में किसान इंदौर एयरपोर्ट पर मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव से मिले। वहीं, मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने इंदौर में गेर के दौरान हुए हादसे में एक व्यक्ति की दुखद मृत्यु पर गहरा शोक व्यक्त किया। इसी कारण, उन्होंने किसानों द्वारा किए जा रहे सम्मान को विनम्रतापूर्वक स्वीकार करने से इंकार कर दिया।
MP Cabinet बैठक में किसानों की मांग को मंजूरी
मंगलवार को कैबिनेट बैठक ( MP Cabinet ) में सरकार ने किसानों की इस महत्वपूर्ण मांग को स्वीकार किया। बैठक में यह निर्णय लिया गया कि इंदौर-पीथमपुर इकॉनोमिक कॉरिडोर में किसानों को कुल विकसित भूमि का 60प्रतिशत हिस्सा आवंटित किया जाएगा। इस योजना के तहत जिन क्षेत्रों को प्रस्तावित किया गया है, उनमें कोडियाबर्डी, नैनोद, रिंजलाय, बिसनावदा, नावदा पंथ, श्रीराम तलावली, सिन्दोड़ा, सिन्दोड़ी, शिवखेड़ा, नरलाय, मोकलाय, डेहरी, सोनवाय, भैंसलाय, बागोदा, टीही और धन्नड़ जैसे ग्राम शामिल हैं। इस योजना में कुल 1,290.74 हेक्टेयर भूमि का विकास किया जाएगा, जिसमें से किसानों को मुआवजे के बदले में कुल विकसित भूमि का 60फीसदी हिस्सा प्रदान किया जाएगा।
मुख्यमंत्री के निर्णय से किसानों को लाभ
मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव के इस निर्णय से किसानों को उनकी भूमि के बदले विकसित भूखंड प्राप्त होंगे, जिससे वे अपने भविष्य के लिए बेहतर अवसर प्राप्त कर सकेंगे। किसानों ने इस निर्णय के लिए मुख्यमंत्री के प्रति आभार प्रकट करते हुए कहा, मुख्यमंत्री जी, आपने रंगपंचमी का दिन हमारी दिवाली बना दी। यह निर्णय क्षेत्र के समग्र विकास को गति देगा और स्थानीय नागरिकों के लिए नए रोजगार के अवसर सृजित करेगा। साथ ही, यह निर्णय क्षेत्रीय विकास, अधोसंरचना निर्माण और किसानों के हितों को संतुलित रखते हुए लिया गया है, जिससे इंदौर-पीथमपुर इकॉनोमिक कॉरिडोर प्रदेश के आर्थिक परिदृश्य में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा।