Cabinet का फैसला, पेंशनर्स के लिए बढ़ाई 4 फीसदी महंगाई राहत

स्वतंत्र समय, भोपाल

मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव की अध्यक्षता में गुरुवार को हुई कैबिनेट ( Cabinet ) में कई फैसले किए गए। एटीएम या बैंकों के लिए कैश लेकर जाने वाले वाहनों के लिए मप्र में नए नियम लागू किए गए हैं। अब शहरों में रात 9 बजे और ग्रामीण इलाकों में शाम 7 बजे के बाद कैश का कोई ट्रांसपोर्टेशन नहीं होगा। यदि गाड़ी में 10 करोड़ रुपए तक कैश है तो उसमें दो गार्ड अनिवार्य होंगे। उधर, पेंशनर्स को महंगाई राहत में सरकार ने 4 प्रतिशत बढ़ोतरी कर दी है। इससे उन्हें 46 प्रतिशत डीआर मिल सकेगा।

Cabinet में प्रायवेट सिक्यूरिटी एजेंसियों को लेकर सख्ती

मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव की अध्यक्षता में गुरुवार को हुई कैबिनेट ( Cabinet ) में इस पर मुहर लगा दी है। खासकर प्रायवेट सिक्यूरिटी एजेंसियों को लायसेंस लेना अनिवार्य किया गया है। क्योंकि बैंकों के कैश का एटीएम या लाने-ले जाने का काम प्रदेश में यहीं एजेंसियां कर रही है। इनके लिए सख्त कानून लागू किया जाएगा। यदि कैश 10 करोड़ से इससे ज्यादा है तो गाड़ी में हथियारों से लैस दो गार्ड, ड्राइवर सहित दो कर्मचारी, सीसीटीवी, लॉकर, कम्युनिकेशन का स्ट्रांग सिस्टम और जीपीएस ट्रैकिंग होना जरूरी होगा। यानी कैश ट्रांसपोर्टेशन और हैंडलिंग करने वाली प्राइवेट एजेंसियां अब तभी मप्र में काम कर पाएंगी, जब इन प्रावधानों का पालन करेंगे। सरकार ने सिक्यूरिटी लाइसेंस की व्यवस्था भी बदलाव किया है।

दिन की ट्रेनिंग लेना पड़ेगी

एजेंसी के प्रोपराइटर को भी 7 दिन की ट्रेनिंग लेनी पड़ेगी। लायसेंस तीन साल का रिन्यूवल होगा। आर्मी या अन्य प्रवर्तन एजेंसियों जैसी यूनिफार्म और उनके पदनाम का भी उपयोग सिक्यूरिटी एजेंसी नहीं करेंगी। सिक्यूरिटी एजेंसी अपनी कंपनी का नाम डिक्टेटिव, सर्वलैंस,इंटेलिजेंस आदि शब्दों का इस्तेमाल नहीं करेंगे। यदि इन शब्दों का उपयोग किया तो लाइसेंस निरस्त कर दिया जाएगा। सरकार ने राज्य निजी सुरक्षा एजेंसियां (विनियमन) अधिनियम 2005 रुल्स में संशोधन कर नए नियम 2024 लागू किए हैं। अब यदि किसी सिक्योरिटी एजेंसी के पास दूसरे राज्य का लाइसेंस है तो मप्र में उसे फिर से नया लाइसेंस लेने की जरूरत नहीं पड़ेगी। न ही इसका वैरिफिकेशन किया जाएगा। ऑनलाइन सिस्टम बनेगा। इसमें पैसा जमा होगा और पावती भी मिलेगी। सिक्यूरिटी गार्ड की 21 दिन की ट्रेनिंग अनिवार्य कर दी गई है।

प्रदेश में लागू होगा स्मार्ट पीडीएस सिस्टम

कैबिनेट ने स्मार्ट पीडीएस व्यवस्था को लागू करने का निर्णय लिया। इसमें केंद्र सरकार के साफ्टवेयर और सरवर का उपयोग राज्य द्वारा किया जाएगा। इससे सार्वजनिक वितरण प्रणाली में सुधार होगा। एक व्यक्ति के नाम दो जगह नहीं होंगे। साथ ही खाद्यान्न का परिवहन करने वाले वाहनों की निगरानी के लिए कमांड एंड कंट्रोल सेंटर बनाया जाएगा।

इंदौर सिरपुर रामसर साइट के लिए 61.95 करोड़ की योजना

नगरीय विकास एवं आवास मंत्री कैलाश विजयवर्गीय ने बताया कि अभी प्रदेश में 4 रामसर साइड है। इनमें से एक इंदौर की सिरपुर रामसर साइट है। यहां विदेशी पक्षी भी आते हैं। उन्हें संरक्षित करना है। किसी प्रकार के नाले न मिले, अतिक्रमण हटे आदि काम किए जाएंगे। अमृत धरोहर को ठीक तरह से संवारेंगे। पौधे भी लगाएंगे। पर्यावरण और पर्यटन के हिसाब से विकास करेंगे। इसके लिए नगर निगम इंदौर को 61 करोड़ 95 लाख की योजना को मंजूरी दी गई हैं। इसमें 40 प्रतिशत राशि राज्य सरकार बहन करेगी।

कैबिनेट के यह भी निर्णय…

  1. बैकलाग के पदों को भरने के लिए विशेष भर्ती अभियान की अवधि एक वर्ष बढ़ाने का निर्णय लिया गया।
  2. कर्मचारी और पेंशनरों के महंगाई भत्ते, राहत में 4 प्रतिशत वृद्धि का अनुमोदन किया।
  3. किसानों को बिना ब्याज के ऋण देने की व्यवस्था को एक महीने और जारी रखने का अनुसमर्थन।
  4. 9 सितंबर 2022 को वन परिक्षेत्र लटेरी जिला विदिशा में हुई गोलीबारी की घटना की जांच के लिए गठित न्यायिक जांच आयोग का कार्यकाल एक बार फिर छह माह के लिए बढ़ाने का निर्णय लिया।
  5. राज्य इलेक्ट्रॉनिक्स विकास निगम के माध्यम से केंद्रीयकृत रूप से विभागों को क्लाउड सेवाएं उपलब्ध कराई जाएंगी एवं क्लाउड सेवाओं के भुगतान के लिए विज्ञान और प्रौद्योगिकी विभाग को बजट उपलब्ध कराया जाएगा।