MP News: मध्य प्रदेश के रीवा जिले का रहने वाला आदर्श जायसवाल प्रेमिका से शादी करना चाहता था, लेकिन बेरोजगारी उसकी राह का रोड़ा बन गई। युवती के परिवार ने साफ कहा कि जब तक नौकरी नहीं मिलेगी, शादी नहीं होगी। इस दबाव में आकर आदर्श ने एक खतरनाक और अवैध रास्ता चुना। वह फर्जी टिकट चेकर (TTE) बन गया और यात्रियों से ठगी शुरू कर दी।
वाराणसी में पकड़ा गया फर्जी टीटीई
उत्तर प्रदेश के वाराणसी कैंट स्टेशन पर जीआरपी (GRP) और आरपीएफ (RPF) की संयुक्त टीम ने आदर्श जायसवाल को संदिग्ध गतिविधियों के चलते पकड़ लिया। वह स्टेशन के वेटिंग रूम के पास यात्रियों से टिकट चेक कर रहा था। तलाशी लेने पर पुलिस को उसके पास से पूर्व मध्य रेलवे का फर्जी ID कार्ड, TTE की ड्रेस (एप्रन) और कई नकली रेल टिकट बरामद हुए। पूछताछ में उसने अपना जुर्म कबूल कर लिया।
गांव के साइबर कैफे से बनाए फर्जी दस्तावेज
पूछताछ के दौरान आदर्श ने बताया कि वह B.Tech पास है, लेकिन नौकरी नहीं मिलने के कारण परेशान था। मार्च में उसने अपने गांव अतरैला (रीवा) में एक साइबर कैफे से फर्जी रेलवे ID कार्ड बनवाया। इसके बाद नकली टिकट बनाकर ट्रेनों में यात्रियों से पैसे वसूलने लगा। जीआरपी इंस्पेक्टर राजौल नागर के मुताबिक, वह खुद को असली टीटीई बताकर यात्रियों को चकमा देता और पैसे ऐंठता था।
महिलाओं को बेचे नकली टिकट, हुआ पर्दाफाश
एक बार आदर्श ने जनता एक्सप्रेस में यात्रा करने के लिए बी-3 कोच का नकली टिकट ज्योति किरण और गुनगुन नामक महिलाओं को बेचा। जब ज्योति स्टेशन पहुंची, तो बी-3 कोच का कोई अस्तित्व नहीं था। उसे M-2 कोच मिला, जिससे उसे शक हुआ। ज्योति के भाई ने तुरंत रेलवे अधिकारियों से शिकायत की, जिससे पूरे मामले का खुलासा हुआ। पुलिस ने आदर्श के खिलाफ धोखाधड़ी का केस दर्ज कर लिया है और आगे की जांच जारी है।