भोपाल: पहाड़ों पर हुई बर्फबारी के बाद उत्तर से आ रही बर्फीली हवाओं ने पूरे मध्य प्रदेश को अपनी चपेट में ले लिया है। प्रदेशभर में तापमान में भारी गिरावट दर्ज की गई है, जिससे कड़ाके की ठंड का दौर शुरू हो गया है। राज्य के एकमात्र हिल स्टेशन पचमढ़ी में न्यूनतम तापमान 4.2 डिग्री सेल्सियस तक लुढ़क गया, जो इस सीजन में अब तक का सबसे कम है।
मौसम में आए इस अचानक बदलाव का असर राजधानी भोपाल, इंदौर, ग्वालियर और जबलपुर जैसे बड़े शहरों पर भी पड़ा है। ग्वालियर-चंबल संभाग ठंड से सबसे ज्यादा प्रभावित है। बर्फीली हवाओं के कारण दिन और रात के तापमान में गिरावट आई है, जिससे लोगों को दिन में भी ठिठुरन का अहसास हो रहा है।
मौसम विभाग ने जारी किया कोल्ड वेव का अलर्ट
मौसम विज्ञान विभाग (IMD) ने प्रदेश के कई जिलों में अगले दो से तीन दिनों के लिए शीतलहर (कोल्ड वेव) का अलर्ट जारी किया है। मौसम वैज्ञानिकों के अनुसार, हिमालय क्षेत्र में हुई बर्फबारी के बाद वहां से आ रही शुष्क और ठंडी हवाओं के कारण मध्य प्रदेश में तापमान तेजी से गिरा है। यह स्थिति अगले 48 से 72 घंटों तक बनी रह सकती है। विभाग ने लोगों को ठंड से बचने के लिए आवश्यक सावधानी बरतने की सलाह दी है।
प्रमुख शहरों में तापमान की स्थिति
प्रदेश के विभिन्न शहरों में न्यूनतम तापमान में रिकॉर्ड गिरावट देखी गई है। पचमढ़ी के बाद मैदानी इलाकों में राजगढ़ 5.5 डिग्री सेल्सियस के साथ सबसे ठंडा रहा। अन्य शहरों का तापमान इस प्रकार रहा:
- ग्वालियर: 6.0 डिग्री सेल्सियस
- दतिया: 6.2 डिग्री सेल्सियस
- नौगांव: 6.5 डिग्री सेल्सियस
- खजुराहो: 7.0 डिग्री सेल्सियस
- गुना: 7.2 डिग्री सेल्सियस
- सागर: 8.2 डिग्री सेल्सियस
- भोपाल: 9.0 डिग्री सेल्सियस
- जबलपुर: 9.4 डिग्री सेल्सियस
- इंदौर: 10.0 डिग्री सेल्सियस
- उज्जैन: 10.2 डिग्री सेल्सियस
पश्चिमी विक्षोभ से मिल सकती है राहत
मौसम विभाग का अनुमान है कि 20 नवंबर के आसपास एक नया पश्चिमी विक्षोभ उत्तर भारत में सक्रिय हो सकता है। इसके प्रभाव से हवाओं का रुख बदलने की संभावना है, जिससे तापमान में मामूली बढ़ोतरी हो सकती है और ठंड की तीव्रता में कुछ कमी आ सकती है। इस विक्षोभ के कारण प्रदेश के कुछ हिस्सों में आंशिक बादल छाने के साथ हल्की बूंदाबांदी भी हो सकती है।