MP Weather: मध्य प्रदेश में मानसून अब विदाई की ओर है और तेज बारिश का कोई सक्रिय सिस्टम वर्तमान में नहीं है। मौसम विभाग के अनुसार, अगले कुछ दिनों में प्रदेश के कुछ हिस्सों, विशेषकर इंदौर और उज्जैन समेत 17 जिलों में गरज-चमक के साथ हल्की बूंदाबांदी की संभावना है। हालांकि, 5 अक्टूबर के बाद बारिश के आसार काफी कम हो जाएंगे। इस साल 21 जून को मानसून ने मध्य प्रदेश में प्रवेश किया था, और एक सप्ताह के भीतर पूरे प्रदेश में सक्रिय हो गया। ग्वालियर-चंबल क्षेत्र में मानसून सबसे देर से आया, लेकिन इसकी विदाई भी सबसे पहले वहीं से होगी। इस बार प्रदेश में 44.1 इंच बारिश दर्ज की गई है, जो सामान्य से 18% अधिक है।
मौसम वैज्ञानिकों के अनुसार, मंगलवार को मध्य प्रदेश के कुछ जिलों में हल्की बारिश हो सकती है। बालाघाट, सिवनी, मंडला, सागर, दमोह, रायसेन, सीहोर, शाजापुर, इंदौर, उज्जैन, देवास, धार, खरगोन, बड़वानी, रतलाम, झाबुआ, और अलीराजपुर में गरज-चमक के साथ हल्की बारिश की संभावना है। वहीं, भोपाल, ग्वालियर, जबलपुर और अन्य जिलों में तेज धूप खिली रहने की उम्मीद है, जिससे मौसम शुष्क बना रहेगा।
सोमवार को नर्मदापुरम, धार, खजुराहो, रीवा और सिवनी जिलों में हल्की बारिश दर्ज की गई, जबकि शेष जिलों में तेज धूप रही। मंगलवार को भी मध्य प्रदेश के अधिकांश जिलों में धूप खिली रहेगी, जिससे उमस और गर्मी बढ़ने की संभावना है। मानसून के कमजोर पड़ने के साथ ही बारिश की गतिविधियां सीमित हो गई हैं, और मौसम अधिक गर्म और आर्द्र बने रहने के आसार हैं।
मौसम विशेषज्ञ के अनुसार, मध्य प्रदेश में मानसून की विदाई ग्वालियर, चंबल, और उज्जैन संभाग से शुरू होगी। उत्तरी हवाओं के सक्रिय होने के साथ ही रात के समय ओस गिरने लगी है, और सुबह के समय हल्की ठंडक महसूस होने लगी है, जो मानसून की वापसी का संकेत है। आने वाले दिनों में बादलों और हल्की बौछारों का सिलसिला धीरे-धीरे कम होता जाएगा, जिससे मानसून पूरी तरह से समाप्त हो जाएगा।
मौसम विशेषज्ञ के अनुसार, यदि मध्य प्रदेश में अगले एक सप्ताह तक और बारिश होती है, तब भी 15 अक्टूबर तक मानसून की वापसी हो जाएगी। इसका कारण यह है कि दक्षिण भारत में रिट्रीटिंग (वापसी) मानसून की प्रक्रिया शुरू हो जाती है, और वहां से देश के अधिकांश हिस्सों में मानसून की विदाई का सिलसिला शुरू हो जाता है। इसलिए, मध्य प्रदेश में भी मानसून धीरे-धीरे विदा हो जाएगा।