विपिन नीमा, इंदौर
पहली बार प्रधानमंत्री बने नरेंद्र मोदी ( Narendra Modi ) ने लाल किले से स्वच्छता सर्वेक्षण का ऐलान किया था उसी दिन से इंदौर ने मोदी जी के इस अभियान को एक चुनौती मानकर स्वच्छता में ऐसा काम करके दिखाया कि पूरी दुनिया में इंदौर का नाम छा गया। आज पूरे देश में क्लीन सिटी के नाम से इंदौर की पहचान बन गई।
Narendra Modi ने एक पेड़ माँ के नाम अभियान से जुड़ने का बोला था
इसी प्रकार हर रविवार को रेडियो पर प्रसारित होने वाले मन की बात कार्यक्रम में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ( Narendra Modi ) ने पर्यावरण के क्षेत्र में एक बड़ा ऐलान करते हुए देश की जनता से एक पेड़ माँ के नाम अभियान से जुडऩे का आह्वान किया था। इस अभियान को भी इंदौर स्वीकार करते हुए ऐतिहासिक काम करके दिखा दिया। 14 जुलाई को पहली बार में ही इंदौर ने 11 घंटे में 12 लाख पौधे रोपकर गिनीज बुक ऑफ वल्र्ड रिकार्ड में अपना नाम दर्ज करवा लिया है। इस अभियान में मिली ऐतिहासिक सफलता के साथ इंदौर ने क्लीन सिटी के साथ ग्रीन सिटी बनाने का रास्ता चुन लिया है। स्वच्छता और पौधारोपण महाअभियान में इंदौर ने सबकों पीछे छोड़ दिया। इंदौर को पूरे देश में स्वच्छता, स्वाद, सुशासन, सहयोग और जनभागीदारी के लिए जाना जाता है लेकिन अब इंदौर को एक पेड़ माँ के नाम वृक्षारोपण अभियान के लिए भी देशभर में जाना जाएगा। इस अभियान को अंजाम तक पहुंचाने में कैलाश विजयवर्गीय वन मेन शो रहे। उन्होंने मोदी जी की मन की बात कार्यक्रम को मन में उतारकर उनके अभियान को अंजाम तक पहुंचाया। पहली बार में ही इंदौर ने असम में एक दिन में रोपे गए 9 लाख 25 हजार पौधों के पिछले रिकॉर्ड को पीछे छोड़ दिया है।
देखते ही देखते बन गया जनआंदोलन
जब मोदी जी ने इस अभियान की शुरूआत की थी तो किसी को अंदाजा नहीं था कि यह अभियान एक जनआंदोलन बन जाएगा। एक पेड़ माँ के नाम अभियान से रिकार्ड पौधे लगाकर इंदौर ने ग्रीन सिटी की और कदम बढ़ा लिया है। अब हर साल अपनी माँ और धरती माता को प्रणाम करके इंदौर इस अभियान के माध्यम से पर्यावरण के क्षेत्र में अपनी पहचान बनाएंगा।
इंदौर की पहचान
रेवती रेंज के सीमा सुरक्षा बल परिसर में इस अभियान के तहत एक दिन में 11 लाख वृक्षरोपण कार्यक्रम की शुरूआत की। धमाकेदार शुरुआत करते हुए इंदौर ने पहले ही साल 11 लाख पौधे लगाने का वल्र्ड रिकॉर्ड बनाया। इंदौर को पूरे देश में स्वच्छता, स्वाद, सुशासन, सहयोग और जनभागीदारी के लिए जाना जाता है, लेकिन इंदौर एक स्मार्ट सिटी, मेट्रो सिटी, क्लीन सिटी, मॉडर्न एजुकेशन का हब तो था ही, अब ग्रीन सिटी के नाम से भी जाना जाएगा।
9 लाख मधुकामिनी के पौधे लगाए गए
रेवती रेंज पर आयोजित महाभियान के तहत 11 लाख पौधे रोपने के लिए विशाल व्यवस्था की गई थी । कुल एरिया- 90 एकड़, कुल 9 जोन और 80 सब जोन, इसके अलावा एक सब जोन में 10 हजार लोग. इसमें 135 से अधिक सामाजिक संगठन शामिल थे। मौके पर बीएसएफ के 2 हजार से अधिक जवान, 5 हजार से अधिक सेना के जवान और 30 हजार से अधिक नागरिक शामिल हुए। हालांकि 30 किलोमीटर के दायरे में 11 लाख गड्ढे खोदे गए। विश्व रिकॉर्ड बनाने से पहले 300 ट्रकों में भरकर पौधे मौके पर पहुंचाए गए. अभियान में शहरवासी, स्वयंसेवी संगठन, राजनेता, सामाजिक संगठन, धार्मिक नेता, बीएसएफ जवान, पुलिस, सरकारी कर्मचारी और विद्यार्थी शामिल हुए। इसमें 11 लाख पौधों में से 9 लाख मधुकामिनी के पौधे लगाए गए।