स्वतंत्र समय, इंदौर
राज्य बजट को लेकर एक सुझाव बैठक रेसीडेंसी कोठी में जिला प्रशासन और एमआईडीसी द्वारा गुरुवार को हुई लेकिन इस दौरान महापौर ( Pushyamitra Bhargava ) की खरी-खरी बात से अधिकारियों से लेकर अन्य जनप्रतिनिधि भी सन्न रह गए।
Pushyamitra Bhargava बोले- किसान दुखी नहीं होना चाहिए
महापौर ( Pushyamitra Bhargava ) ने इस दौरान साफ कहा कि इतनी योजनाएं आ रही है और किसानों से जमीन ली जा रही है, लेकिन हम किसानों को चार गुना मुआवजा नहीं दे रहे हैं। जबकि केंद्र का जमीन अधिग्रहण नियम इसके प्रावधान करता है। इस पर अधिकारियों ने कहा कि लैंड पूल स्कीम में हम जमीन ले रहे हैं और उन्हें इसके बदले में 50 फीसदी विकसित प्लाट दिए जाते हैं। महापौर ने एक और खरी बात सुना दी, उन्होंने कहा कि लैंड पूल स्कीम में प्लाट कहां मिलेंगे, इसका झगडा चलता है, यह आईडीए में देखते हैं, किसी को आगे प्लाट तो कहीं किसी को कोने का प्लाट तो कहीं किसी को पीछे प्लाट दिया जाता है। इससे विवाद होता है। किसान दुखी नहीं होना चाहिए और जमीन दे रहा है तो चार गुना मुआवजा दिया जाना चाहिए।
केंद्र की स्कीम में मिले यह मुआवजा
महापौर ने कहा कि विकास जरूरी है, हो भी रहा है जहां अधिग्रहण हो रहा है मेरा मानना है कि भू अधिग्रहण कानून के तहत मुआवजा देंगे तो अधिग्रहण जल्द होगा और प्रोजेक्ट भी जल्द पा होगा। केंद्र सरकार ने देश भर में मुआवजे के लिए चार गुना देने का काम किया है। मप्र में हर बात यह मांग उठी है कि केंद्र की योजनाओं में यह फार्मूला लगे तो किसानों को व जिनकी जमीन जा रही है चार गुना मुआवजा मिल सकता है वह मन से दुखी नहीं होगा और ठगा महसूस नहीं करेगा। यदि प्लाट देने की हमारी योजना है तो वह उन्हें जल्द मिल जाए। यह किसान, जमीन मालिक के हित का सुझाव मैंने दिया है।