स्वतंत्र समय, बैतूल
बैतूल में आदिवासियों की पिटाई के मामले में सर्व आदिवासी समाज ने सांसद पर निशाना साधा है। शिवाजी ऑडिटोरियम में आयोजित जनसभा को संबोधित करते हुए जयस के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष रामदेव काकोडिय़ा ने कहा बैतूल शहर में सरेआम आदिवासी युवकों के साथ बेरहमी से पिटाई की गई, लेकिन सांसद द्वारा ना तो इन युवक का हाल-चाल जाना ना ही आदिवासी समाज के विरोध प्रदर्शन में शामिल होना जरूरी समझा। उन्होंने कहा कि दबंग आदिवासियों पर यातनाओं का कहर ढा रहे हैं। लेकिन हमारे सांसद इनको न्याय दिलाने के लिए आदिवासियों की रैली में दो कदम भी नहीं चल सके।
आदिवासियों ने निकाली विशाल आक्रोश रैली
गौरतलब है कि शुक्रवार 16 फरवरी को सर्व आदिवासी समाज द्वारा आदिवासी युवकों की पिटाई के विरोध में बैतूल बंद का आव्हान करते हुए विशाल आक्रोश रैली निकाली थी। इस रैली में जिले के 10 ब्लॉकों सहित आसपास क्षेत्र के आदिवासी नेता एवं पदाधिकारी रैली में शामिल हुए थे। रैली शिवाजी ऑडिटोरियम से गुरुद्वारा रोड, दिलबहार चौक, कॉलेज रोड, होते हुए लल्ली चौक, बस स्टैंड से कलेक्ट्रेट पहुंची। जहां अपर कलेक्टर को ज्ञापन सौंपकर सर्व आदिवासी समाज ने दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करने की मांग की। ज्ञापन सौंपने के बाद रैली वापस शिवाजी ऑडिटोरियम पहुंची, जहां आदिवासी समाज के नेताओं ने विशाल जनसभा को संबोधित करते हुए आक्रोश व्यक्त किया। जनसभा एवं रैली में प्रमुख रूप से रामदेव काकोडिया जयस पूर्व प्रदेश अध्यक्ष, साधना उइके भोपाल, समस्त आदिवासी समाज संगठन जिला अध्यक्ष सुंदरलाल उइके, जयस जिला अध्यक्ष संदीप कुमार धुर्वे, आदिवासी कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष रामू टेकाम, दिलीप धुर्वे, रामचरण इरपाचे, महेश शाह उइके, जितेंद्र सिंह इवने, राजा धुर्वे, दिलीप पन्द्राम, दुर्गा उइके, स्मिता धुर्वे, पुष्पा पेंदाम, मुन्नालाल वाडि़वा, हेमन्त सरियाम, भोलाराम उइके, सुनील करोचे, पुष्पा मर्सकोले, डोमासिंह, सरवन परते माझी सरकार, रितिक परते, रामदीन इवने, मनीष परते, महेंद्र परते,देवेश्वरी मरकाम, सामाजिक कार्यकर्ता अविनाश धुर्वे, मदन चौहान, जनकलाल मवासे सहित माझी सरकार संगठन के सैनिक बड़ी संख्या में रैली में शामिल हुए। सर्व आदिवासी समाज ने बंद को सफल बनाने के लिए शहर के सभी व्यापारी बंधुओं का आभार व्यक्त किया।
1 करोड़ रु मानहानि का दावा करने का लिया निर्णय
राज्यपाल के नाम सौंपे पर ज्ञापन में उल्लेख किया गया कि आसामाजिक तत्वों द्वारा आदिवासियों को मारने पिटने एवं नियमित रूप से धमकाने जैसे कृत्य किये जा रहें है, जिससे प्रतित होता हैं कि जिले में अपराधिक प्रवृति के लोगो का ग्राफ दिनो दिन बढ़ता जा रहा हैं एवं शासन प्रसान का भय नहीं है। सोशल मीडिया के माध्यम से जिले के अंतर्गत ग्राम बासपानी निवासी अशीष परते का निर्वस्त्र कर उल्टा लटका के हाथ पैर बांधकर उसे बेरहमी से पीटा गया, यह घटना पूरे जिले को शर्मसार करने वाली घटना हैं। ऐसे शर्मसार कृत्य करने वाले आरोपियों को अनु. ज.जा. अत्याचार निवारण अधिनियम के तहत् कड़ी से कड़ी कार्यवाही करते हुए सजा दी जाए, इस पूरे घटनाक्रम के पीछे केफी नामक युवक का हाथ बाताया जा रहा हैं जो कि आये दिन घटनाओं को अजांम दे रहा है।।ग्राम मलकापुर में दिनांक 16 जनवरी, 28 जनवरी को रात्रि 10 से 11 बजे के बीच कुछ आसामजिक तत्वों द्वारा मलकापुर के पूर्व सरपंच बुदल धुर्वे के घर में घुस कर उनकी पत्नी एवं मां के साथ अभद्र व्यवहार किया गया साथ ही जान से मारने की धमकी दी। ग्रामीणों के साथ बुदल धुर्वे गंज थाना पहुंचे लेकिन थाना प्रभारी डेहरीया ने शिकायत लेने से इनकार कर दिया।
ऐसे अधिकारियों का तत्काल प्रभाव से निलंबित किया जाए
बैतूल शहर में विगत दिनों रात्रि लगभग 11:30 बजे राज नामक आदिवासी को चंचल राजपूत एवं साथियों द्वारा घेरकर मारपीट की गई। बताया जा रहा है कि ये सभी अपराधिक प्रवृति के हैं तथा बजरंग दल के कार्यकता हैं। उक्त घटना को देखते हुए सर्व समाज ने 1 करोड़ रु मानहानि का दावा करने का निर्णय लिया है।