Red Alert : यूरोप इन दिनों भीषण गर्मी की चपेट में है, और हालात दिन-ब-दिन बदतर होते जा रहे हैं। दक्षिणी यूरोप में तापमान ने सभी पुराने रिकॉर्ड तोड़ दिए हैं, जिससे कई देशों में रेड अलर्ट जारी कर दिया गया है। स्पेन के मोरा शहर में पारा 46.6 डिग्री सेल्सियस तक पहुंच गया है, जो जून महीने के लिए अब तक का सबसे अधिक तापमान है। साथ ही, फ्रांस, पुर्तगाल, इटली और तुर्की में भी गर्मी ने जनजीवन को बुरी तरह प्रभावित किया है।
पेरिस में Red Alert सड़कों से वाहनों पर रोक
फ्रांस की राजधानी पेरिस सहित 15 क्षेत्रों में मौसम विभाग ने उच्चतम स्तर का रेड अलर्ट जारी किया है। तापमान यहां 41 डिग्री सेल्सियस तक पहुंच गया है। पेरिस प्रशासन ने ओजोन प्रदूषण को नियंत्रित करने के लिए अधिक प्रदूषण फैलाने वाले वाहनों की आवाजाही पर रोक लगा दी है और स्पीड लिमिट भी घटा दी गई है। शहर के प्रमुख पर्यटन स्थलों के पास एंबुलेंस तैनात की गई हैं ताकि गर्मी से पीड़ित लोगों को तुरंत इलाज मिल सके।
Red Alert जंगलों में आग और हज़ारों लोगों की निकासी
तुर्की के इज़मिर प्रांत में 120 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से चल रही हवाओं के चलते जंगलों में लगी आग और भड़क गई, जिसके चलते 50,000 से अधिक लोगों को वहां से निकाला गया। इसी तरह दक्षिणी फ्रांस में भी एक लापरवाही से लगी आग ने करीब 1,000 एकड़ वनस्पति को खाक कर दिया।
इटली के बाइया डोमिज़िया इलाके में हालात और भी डरावने रहे। नेपल्स के पास स्थित इस तटीय इलाके में बीच पर मौजूद लोगों को तब समुद्र में भागना पड़ा जब पीछे की पाइन की झाड़ियों में अचानक आग भड़क उठी। सेलोले शहर के मेयर गुइडो दी लियोन ने कहा, “ऐसा मंजर मैंने पहले कभी नहीं देखा। 30 मीटर ऊंची लपटें हमें चारों ओर से घेर चुकी थीं।”
राहत के प्रयास तेज़, लेकिन चुनौती बरकरार
गर्मी से निपटने के लिए यूरोपीय शहरों ने आपात राहत उपाय शुरू कर दिए हैं। मार्सेयी में तैराकी पूल मुफ्त में खोले गए हैं, बोर्डो में पार्कों के खुलने का समय बढ़ा दिया गया है, और वेनिस में बुजुर्गों के लिए वातानुकूलित संग्रहालयों की विशेष व्यवस्था की गई है।
फ्रांस सरकार ने घोषणा की है कि अत्यधिक गर्मी के कारण देश भर में 1,300 से अधिक स्कूलों को बंद करना पड़ा है या वे सीमित समय पर संचालित हो रहे हैं — जो कि एक दिन पहले की संख्या से लगभग दोगुनी है।
Red Alert : समुद्र भी उबाल पर, भविष्य के लिए चेतावनी
इस बार की गर्मी सिर्फ धरती पर ही नहीं, बल्कि समुद्र में भी असर दिखा रही है। भूमध्यसागर का तापमान भी रिकॉर्ड स्तर तक बढ़ गया है, जो जून के महीने के लिए अब तक का सबसे अधिक तापमान है।
मौसम वैज्ञानिकों का कहना है कि जलवायु परिवर्तन के चलते इस तरह की गर्मी अब सामान्य होती जा रही है। विशेषज्ञ चेतावनी दे रहे हैं कि यह सिर्फ एक शुरुआत है और आने वाले सालों में स्थिति और विकट हो सकती है।