सुकमा में हुए नक्सली हमले में भिण्ड जिले का लाल शहीद

स्वतंत्र समय, भिण्ड

जिले के मेहगांव विधानसभा क्षेत्र के अमायन इलाके के ग्राम कुपावली निवासी सीआरपीएफ जवान पवन भदौरिया मंगलवार को छत्तीसगढ़ के सुकमा इलाके में हुए नक्सली हमले में शहीद हो गए। इस खबर के आते ही उनके गृह गांव कुपावली में मातम छाया हुआ है।
जिले के कुपावली गांव निवासी राजकुमार भदौरिया एवं शकुंतला के घर उनके इकलौते बेटे सीआरपीएफ के जवान पवन भदौरिया के शहीद होने की खबर जैसे ही पहुंची तो चारों ओर चीख-पुकार के साथ मातम छा गया। पति की शहादत की खबर सुनने के बाद से उनकी पत्नी बेसुध हैं। परिजन उन्हें संभालने की कोशिश कर रहे हैं, लेकिन पति के निधन के बज्रपात से वह बहुत आहत हैं। परिवार बेटे के शव का इंतजार कर रहा है। इस बीच पूरा गांव घरवालों को सांत्वना देने उनके घर के बाहर जमा हैं।

30 जनवरी को खुला था नया शिविर

बता दें, सुकमा पुलिस ने टेकुलगुडम में सुरक्षाबल के जवानों का नया शिविर आज ही खोला था। कोबरा, एसटीएफ और डीआरजी के जवान शिविर के नजदीक जोनागुड़ा-अलीगुड़ा की ओर गश्त करने निकले। इसी दौरान जवानों और नक्सलियों के बीच एनकाउंटर शुरू हो गया। साल 2021 में इसी जगह पर नक्सलियों के एंबुश में फंसकर 23 जवान शहीद हुए थे।

तीन साल की है बेटी

शहीद पवन भदौरिया की शादी साल 2018 में हुई थी। उनकी तीन साल की एक बेटी है। पवन की मां शकुंत, पिता राजकुमार और पत्नी इस घटना के बज्रपात से वह बहुत आहत हैं।

पिता बोले बहादुर था बेटा

पिता ने कहा हमारा बेटा बहुत बहादुर था, किसी से भी नहीं डरता था। शहीद बेटे ने पिता से फोन पर बताया था कि शिविर बदल रहा हूं, पिता ने उन्हें वहां जाने से मना किया था लेकिन बेटा बोला मैं जाऊंगा।

इस तरह हुआ था हमला

सुकमा में जिला मुख्यालय से करीब 120 किमी दूर नक्सल प्रभावित इलाके टेकलगुड़ा में जवान कैंप स्थापित करने पहुंचे थे। दोपहर करीब 12 बजे नक्सलियों ने उन पर चौतरफा हमला बोल दिया। उनके पास अत्याधुनिक हथियार थे। नक्सली जवानों पर ताबड़तोड़ गोलियां चलाने लगे। कैम्प की सुरक्षा में लगे कोबरा और एसटीएफ के जवानों ने भी जवाब में गोलीबारी की, यह गोलीबारी शाम चार बजे होती रही।