5 Sunscreen Mistakes: अक्सर लोग सोचते हैं कि सनस्क्रीन सिर्फ धूप में निकलते समय ही लगाना चाहिए। लेकिन यही सबसे बड़ी गलती है। क्या आप जानते हैं कि बिना धूप में निकले भी आपकी स्किन पर धीरे-धीरे डैमेज हो सकता है? रोजाना की कुछ मामूली आदतें आपकी त्वचा को डार्क पैचेस, टैनिंग और फाइन लाइंस की तरफ ले जा सकती हैं। आइए जानते हैं वो 5 बड़ी गलतियां जो आप भी शायद रोज कर रहे हैं…
भारतीय त्वचा में मेलानिन ज्यादा होता है, जो SPF-13 तक की सुरक्षा देता है। लेकिन यह सही नहीं है। सूरज की UV किरणें स्किन को डैमेज करती हैं और पिग्मेंटेशन बढ़ाती हैं, खासकर उन लोगों में जिन्हें मेलास्मा की दिक्कत है। इसलिए हर सुबह SPF 30 या उससे ऊपर का ब्रॉड-स्पेक्ट्रम सनस्क्रीन जरूर लगाएं, चाहे आप घर पर ही क्यों न हों।
UVA किरणें बादलों और खिड़की के शीशों से भी आपकी स्किन तक पहुंचती हैं। अगर आप सोचते हैं कि घर में बैठे हैं तो स्किन सुरक्षित है, तो आप गलत हैं। इसलिए लाइटवेट, नॉन-ग्रीसी सनस्क्रीन लगाएं और जरूरत पड़ने पर दोबारा लगाएं।
सनस्क्रीन की असर कुछ घंटों में पसीने, ऑयल या कपड़ों के रगड़ने से खत्म हो जाती है। अगर आप बाहर हैं, तो हर 3-4 घंटे में दोबारा सनस्क्रीन लगाना जरूरी है।
भारी, चिपचिपा सनस्क्रीन खासकर गर्मी में आपकी स्किन के पोर्स को बंद कर सकता है, जिससे पिंपल्स हो सकते हैं। हमेशा जेल बेस्ड, नॉन-कॉमेडोजेनिक और सुघंध रहित सनस्क्रीन का इस्तेमाल करें।
मेकअप में मौजूद SPF स्किन को पूरी सुरक्षा नहीं दे पाता, जब तक आप उसे जरूरत से सात गुना ज़्यादा मात्रा में न लगाएं। इसलिए मेकअप से पहले अलग से सनस्क्रीन लगाना अनिवार्य है।