देश की बेटी दिव्या देशमुख ने FIDE महिला विश्व कप में रचा इतिहास

देश की बेटी दिव्या देशमुक ने शानदार प्रदर्शन कर FIDE महिला विश्व कप का ख़िताब अपने नाम किया। इतिहास में ऐसा पहली बार हुआ है, जब किसी भरतीय महिला ने FIDE मैच अपने नाम किया है। उन्होंने अनुभवी भारतीय प्लेयर कोनेरू हम्पी को शिकस्त देकर ये अवार्ड हासिल किया है। दिव्या ने ये करिश्मा महज 19 साल की उम्र में कर दिखाया है।

दिव्या देशमुक और कोनेरू हम्पी के बीच हुआ कड़ा मुकाबला :

FIDE महिला विश्व कप के फाइनल्स में दो भारतीय खिलाड़ी आमने सामने थे। इन दो खिलाड़ियों में एक तरफ अनुभवी खिलाड़ी हम्पी थी , जो भारत की शानदार प्लेयर में से एक है, तो वही दूसरी और भारत की युवा खिलाडी दिव्या देशमुख थी जिन्होने कई चैंपियनशिप अपने नाम कि है। कोनेरू हम्पी बेहद ही शांत और मंजी हुई खिलाडी है लेकिन दिव्या देशमुख ने अपने जज्बे और महनत से कोनेरू हम्पी को हराकर FIDE महिला विश्व कप मे जीत हासिल कि है।

युवा प्लेयर दिव्या देशमुक :

दिव्या देशमुक 19 वर्षीय युवा खिलाडी है। जिन्होंने 21 वीं महिला शतरंज ग्रैंडमास्टर का ख़िताब अपने नाम किया। दिव्या ने 2022 के महिला भारतीय शतरंज चैंपियनशिप में शानदार प्रदर्शन किया और जीत हासिल की है। साथ ही उन्होंने 2022 मे शतरंज ओलंपियाड में कांस्य पदक जीता है। इन सब उपलब्धियों के बाद अब उन्होंने FIDE कप की उपलब्धि भी अपने नाम कर ली है।