UPI Payment New Rule 2025: नेशनल पेमेंट्स कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया (NPCI) ने यूपीआई यूजर्स के लिए एक बड़ा अपडेट जारी किया है, जिससे डिजिटल पेमेंट का अनुभव और भी बेहतर होने जा रहा है। नए फैसले के तहत 16 जून 2025 से यूपीआई के जरिए किए जाने वाले हर लेनदेन को सिर्फ 15 सेकंड के भीतर प्रोसेस किया जाएगा।
इस बदलाव का मकसद यह है कि उपयोगकर्ताओं को तेज, सुरक्षित और ज्यादा सहज भुगतान सेवा मिले। अब लेनदेन में लगने वाला समय काफी घट जाएगा, जिससे ऑनलाइन पेमेंट करना पहले से कहीं अधिक सुविधाजनक हो जाएगा। NPCI का यह कदम डिजिटल इंडिया को और अधिक गति देने की दिशा में एक बड़ा कदम माना जा रहा है।
नेशनल पेमेंट्स कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया (NPCI) ने यूपीआई से जुड़ी सेवाओं को और बेहतर बनाने के लिए 26 अप्रैल को एक नया सर्कुलर जारी किया है। इसके तहत सभी बैंकों और पेमेंट ऐप्स को निर्देश दिया गया है कि वे 16 जून 2025 से नए रिस्पॉन्स टाइम को लागू करें। अब यूपीआई ट्रांजेक्शन प्रोसेस होने में जहां पहले 30 सेकंड तक का समय लगता था, वहीं अब यह केवल 15 सेकंड में पूरा हो जाएगा।
क्या-क्या होगा अब पहले से ज्यादा फास्ट?
• रिक्वेस्ट पे और रिस्पॉन्स पे: अब सिर्फ 15 सेकंड में प्रोसेस
• ट्रांजेक्शन स्टेटस चेक और रिवर्सल: 10 सेकंड में
• वैलिडेट एड्रेस: भी सिर्फ 10 सेकंड में
क्यों किया गया यह बदलाव?
मार्च और अप्रैल 2025 में यूपीआई सेवाओं में बार-बार रुकावटें देखने को मिलीं।
• 26 मार्च, 1 अप्रैल और 12 अप्रैल को लाखों ट्रांजेक्शन फेल हो गए थे।
• जांच में पता चला कि ट्रांजेक्शन चेक करने वाली API पर अत्यधिक लोड के कारण ये समस्याएं आईं।
इसलिए NPCI ने प्रोसेसिंग टाइम घटाकर सिस्टम को ज्यादा फास्ट और स्थिर बनाने का फैसला लिया।
यूपीआई की ताकत
यूपीआई भारत का सबसे भरोसेमंद और तेज डिजिटल पेमेंट प्लेटफॉर्म बन चुका है।
हर महीने इससे करीब ₹25 लाख करोड़ रुपये के ट्रांजेक्शन किए जाते हैं।
नया नियम लागू होने के बाद यह सेवा और अधिक यूज़र-फ्रेंडली, रेस्पॉन्सिव और सुरक्षित बन जाएगी।
बैंकों और ऐप्स को सिस्टम अपडेट करने का निर्देश
NPCI ने स्पष्ट किया है कि 16 जून 2025 से लागू हो रहे नए नियमों का लाभ उपभोक्ताओं को तभी मिल पाएगा जब बैंक और पेमेंट सर्विस प्रोवाइडर्स (जैसे PhonePe, Google Pay, Paytm आदि) अपने सिस्टम को समय रहते अपडेट कर लें।
इसलिए NPCI ने इन सभी संस्थाओं को सख्त निर्देश दिए हैं कि वे अपने सर्वर, API और ट्रांजेक्शन हैंडलिंग सिस्टम को नए रिस्पॉन्स टाइम के अनुसार अनुकूलित करें। यह बदलाव इसलिए जरूरी है ताकि यूजर्स को ट्रांजेक्शन के दौरान किसी प्रकार की देरी या तकनीकी समस्या का सामना न करना पड़े।
सिस्टम अपग्रेड के बाद, उपयोगकर्ताओं को तेज प्रोसेसिंग के साथ अधिक स्थिर और भरोसेमंद यूपीआई अनुभव मिलेगा, जिससे डिजिटल पेमेंट का दायरा और सहजता और भी बढ़ जाएगी।