Uttarakhand landslide: उत्तराखंड के रुद्रप्रयाग जिले में केदारनाथ जाने वाले रास्ते पर सोमवार देर रात भूस्खलन (लैंडस्लाइड) की घटना हुई, जिसमें 5 तीर्थयात्रियों की मलबे में दबकर मौत हो गई। इस हादसे में कई अन्य यात्री भी घायल हुए हैं। SDRF (State Disaster Response Force) की टीम ने मंगलवार सुबह मलबे से शव निकाले और घायलों को उपचार के लिए नजदीकी अस्पताल पहुंचाया। इस प्रकार की प्राकृतिक आपदाएं पर्वतीय क्षेत्रों में सामान्य हैं, विशेषकर मानसून के दौरान। तीर्थयात्रियों को हमेशा सतर्क रहने और प्रशासन द्वारा जारी की गई चेतावनियों का पालन करने की सलाह दी जाती है। राहत एवं बचाव कार्य अभी भी जारी है और प्रशासन स्थिति पर नजर बनाए हुए है।
उत्तराखंड में रुद्रप्रयाग केदारनाथ यात्रा मार्ग पर हुए भूस्खलन में मरने वालों की पहचान हो चुकी है। मृतकों में एक तीर्थयात्री नेपाल के, तीन मध्य प्रदेश के और एक गुजरात के थे। मृतकों के नाम इस प्रकार हैं:
– गोपाल (50), धार, मध्य प्रदेश
– दुर्गाबाई खापर (50), धार, मध्य प्रदेश
– समनबाई (50), धार, मध्य प्रदेश
– भारत भाई निरालाल (52), सूरत, गुजरात
– तितली देवी मंडल (70), धनवा, नेपाल
इस घटना ने तीर्थयात्रियों के बीच गहरा दुख और संवेदना उत्पन्न की है। दूसरी ओर, छत्तीसगढ़ में मंगलवार को लगातार हो रही भारी बारिश ने राज्य के कई हिस्सों में बाढ़ जैसी स्थिति पैदा कर दी है। रायपुर, सुकमा और बीजापुर जैसे जिलों में हालात गंभीर हैं, नदियां उफान पर हैं और कई स्थानों पर राष्ट्रीय राजमार्ग डूब गए हैं। सुकमा में NH-30 और बीजापुर में NH-63 पानी में डूब गए हैं, जिससे छत्तीसगढ़ का महाराष्ट्र, ओडिशा, आंध्र प्रदेश और तेलंगाना से संपर्क कट गया है। प्रशासन ने राहत और बचाव कार्य तेज कर दिए हैं।
मौसम विभाग ने मंगलवार, 10 सितंबर को छत्तीसगढ़ और मध्य प्रदेश में तेज बारिश का रेड अलर्ट जारी किया है, जिससे इन राज्यों में भारी बारिश की संभावना जताई जा रही है। दोनों राज्यों में दिनभर बहुत ज्यादा बारिश हो सकती है। साथ ही, उत्तर प्रदेश और महाराष्ट्र में भारी बारिश का ऑरेंज अलर्ट जारी किया गया है। मध्य प्रदेश में बीते दो दिनों में बारिश से संबंधित घटनाओं में 12 लोगों की मौत हो चुकी है। विदिशा में बेतवा नदी में पांच लोग डूब गए, जबकि सीहोर में दिगंबर वाटरफॉल पर पिकनिक मनाने आए एक डॉक्टर की डूबने से मौत हो गई।
इसके अलावा, राजस्थान में भी भारी बारिश के कारण स्थिति गंभीर है। पुष्कर में स्थित लेक में पानी भरने से रिहायशी इलाके डूब गए हैं और सड़कों पर 2-3 फीट तक पानी भर गया है। फॉयसागर झील की दीवार में दरार आने की खबर है। पिछले दो महीनों में राज्य के 340 बांध ओवरफ्लो हो चुके हैं, जिससे बाढ़ जैसी स्थितियां बन गई हैं। इन परिस्थितियों को देखते हुए प्रशासन द्वारा सावधानी बरतने और सतर्क रहने की अपील की जा रही है।