दुनिया की सबसे बड़ी ताकतें पीछे छूट गईं, इस देश के पास है सबसे बड़ा तेल खजाना

जब भी अंतरराष्ट्रीय स्तर पर तनाव या संघर्ष की स्थिति बनती है, तो इसका प्रभाव केवल भू-राजनीतिक नहीं होता, बल्कि वैश्विक अर्थव्यवस्था पर भी इसका सीधा असर पड़ता है। खासकर कच्चे तेल (Crude Oil) जैसी आवश्यक वस्तुओं के आयात-निर्यात पर इसका गहरा प्रभाव देखने को मिलता है।

हाल ही में ईरान और इज़राइल के बीच बढ़े तनाव के दौरान भी तेल बाजार में भारी उथल-पुथल देखी गई। ऐसे में यह जानना दिलचस्प है कि आखिर किन देशों के पास सबसे अधिक तेल भंडार मौजूद है।

सबसे अधिक तेल भंडार: वेनेजुएला टॉप पर

विश्व स्तर पर अगर सबसे ज्यादा कच्चे तेल के भंडार की बात करें, तो वेनेजुएला इस सूची में सबसे ऊपर आता है। Worldometer के आंकड़ों के अनुसार, वेनेजुएला के पास करीब 303,008 मिलियन बैरल तेल का भंडार है। हालांकि, इतना बड़ा संसाधन होने के बावजूद वेनेजुएला की आर्थिक स्थिति बेहद खराब है। देश में करीब 80% से अधिक आबादी गरीबी रेखा के नीचे जीवन व्यतीत कर रही है और यह देश दुनिया के टॉप-5 महंगाई दर वाले देशों में शामिल है।

तेल भंडार के मामले में दूसरे स्थान पर कौन?

वेनेजुएला के बाद सऊदी अरब का नाम आता है, जिसके पास 267,230 मिलियन बैरल का तेल भंडार है (2023 के अनुसार)। तेल के मामले में यह देश एक वैश्विक लीडर है और अपनी अर्थव्यवस्था को अब पर्यटन, तकनीक और निवेश के नए क्षेत्रों में भी विस्तार दे रहा है। तीसरे स्थान पर ईरान है, जहां 208,600 मिलियन बैरल का कच्चा तेल मौजूद है। इसके बाद इराक (145,019 मिलियन बैरल) और संयुक्त अरब अमीरात (UAE) (113,000 मिलियन बैरल) क्रमशः चौथे और पांचवें स्थान पर हैं।

अन्य प्रमुख तेल भंडार वाले देश

तेल के भंडार की सूची में कनाडा, कुवैत, और लीबिया जैसे देश भी शीर्ष 10 में आते हैं। ये देश न केवल अपने भंडार के लिए जाने जाते हैं, बल्कि इनके राजनीतिक और आर्थिक निर्णयों का वैश्विक तेल बाजार पर बड़ा असर पड़ता है।

रूस और अमेरिका का योगदान

भले ही रूस और अमेरिका तेल भंडार की सूची में शीर्ष पांच में नहीं हैं, फिर भी इनका वैश्विक ऊर्जा बाजार में प्रभाव बहुत बड़ा है। रूस के पास 80,000 मिलियन बैरल का तेल भंडार है और यह कई देशों को निर्यात करता है, जिसमें भारत भी शामिल है। वहीं अमेरिका के पास 47,730 मिलियन बैरल और चीन के पास 27,889 मिलियन बैरल का भंडार है। इन दोनों देशों की अर्थव्यवस्था केवल तेल पर आधारित नहीं है, बल्कि तकनीक, विनिर्माण और सेवा क्षेत्र में भी ये अग्रणी हैं।

भारत: तीसरा सबसे बड़ा तेल आयातक देश

भारत दुनिया का तीसरा सबसे बड़ा तेल आयातक है। भारत अपनी जरूरत का करीब 80% तेल आयात करता है, जिसमें से 40% आपूर्ति स्ट्रेट ऑफ होर्मुज के रास्ते से होती है। यह मार्ग मध्य पूर्व के भू-राजनीतिक तनाव के चलते बेहद संवेदनशील रहता है। ऐसे में भारत ने रूस और अमेरिका जैसे विकल्पों से आयात बढ़ाकर रणनीतिक रूप से तेल आपूर्ति की सुरक्षा सुनिश्चित करने की दिशा में महत्वपूर्ण कदम उठाया है।