MP News : आंधी-तूफान का महाकाल लोक में तांडव, 856 करोड़ के प्रोजेक्ट में सप्तऋषि की 6 मूर्तियां हुई खंडित, देखें तस्वीरें

MP News : मध्यप्रदेश में एक बार फिर मौसम का बदला मिजाज नजर आ रहा है। बता दें कि नौतपा की शुरुआत होने के बाद से ही प्रदेश के कई जिलों में तेज हवा और बारिश हुई है, जिससे कई क्षेत्रों में भारी नुकसान भी देखने को मिला है। आंधी तूफान की वजह से लोगों की घरों की चद्दर तक उड़ गई है। बदले मौसम ने लोगों को परेशान कर दिए है। इतना ही नहीं कल उज्जैन में तेज हवा चलने के कारण महाकाल लोक में रखी हुई कई मूर्तियां जमीन पर गिर गई। इस दौरान दर्शन करने आने वाले कई श्रद्धालु इन मूर्तियों की चपेट में आने से बच गए। मिली जानकारी के अनुसार हवा इतनी ज्यादा तेज थी कि महाकाल लोक की कई मूर्तियां जमीन पर गिर गई।

Ujjain News:

जानकारी के लिए आपको बता दें कि, पिछले साल अक्टूबर में ही प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने महाकाल लोक का उद्घाटन किया था। यह प्रोजेक्ट 856 करोड रुपए का है इसमें से पहले चरण में 351 करोड रुपए लग चुके हैं और अब खबर आ रही है कि महाकाल लोक की मूर्तियां टूटकर गिरने लगी है। हादसे में कई श्रद्धालु बाल-बाल बचे। जानकारी के मुताबिक, महाकाल लोक में लगी सप्तऋषि की 7 में से 6 मूर्तियां गिरकर खंडित हुई हैं। गनीमत ये रही कि किसी भी श्रद्धालु को चोंट नहीं आई है, लेकिन महाकाल लोक की मूर्तियां गिरने से यहाँ पर हुए करोडो रुपए के कामो पर सवाल जरूर खड़े हुए है।

उज्जैन में शाम करीब 4 बजे अचानक तेज आंधी और बारिश के चलते शहर के कई इलाको में पेड़ और घर गिर गए। उज्जैन में आंधी तूफान आने के कारण पेड़ और मकान गिरने से दो लोगों की मौत हो गई। महाकाल लोक गलियारे की छह मूर्तियां रविवार को आई तेज आंधी के चलते गिरकर क्षतिग्रस्त हो गईं। जानकारी के लिए आपको बता दें कि, वर्तमान में मध्यप्रदेश में एक साथ 5 सिस्टम एक्टिव है, जिससे प्रदेशभर में बारिश की संभावनाएं बनी हुई है।

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किसी मूर्ति की गर्दन टूट गई है तो किसी के हाथ। इस घटना की जानकारी मिलने के बाद जिला कलेक्टर मोके पर पहुंचे और मूर्तियों को सुधार के बाद पुन स्थापित करने के निर्देश दिए। इस घटना के बाद महाकाल महालोक के निर्माण की प्रक्रिया सवालों से घिर गई है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 11 अक्टूबर 2022 को ‘महाकाल लोक’ का लोकार्पण किया था। 10 से 25 फीट ऊंची ये मूर्तियां लाल पत्थर और फाइबर रेनफोर्स प्लास्टिक से बनी हैं।

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कमलनाथ ने ट्वीट कर कहा कि मध्य प्रदेश की तत्कालीन कांग्रेस सरकार ने जब उज्जैन में महाकाल मंदिर परिसर का भव्य निर्माण करने का संकल्प लिया था तब इस बात की कल्पना नहीं की थी कि बाद की सरकार महाकाल लोक के निर्माण में भी गंभीर अनियमितता करेगी। आज जिस तरह से महाकाल लोक परिसर में आंधी चलने से देव प्रतिमाएं जमीन पर गिर गईं, वह दृश्य किसी भी धार्मिक व्यक्ति के लिए अत्यंत करुण दृश्य है। मैं मुख्यमंत्री से मांग करता हूं कि महाकाल लोक में जो प्रतिमाएं गिरी हैं, वहां नई प्रतिमाएं तुरंत स्थापित की जाएं और घटिया निर्माण करने वालों को जांच कर दंडित किया जाए।

Shri Mahakal Mahalok remained in controversies from the beginning, Lokayukta had sent notices to 15 officers

डीएम कुमार पुरुषोत्तम ने कहा, बहुत तेज आंधी आई थी। बता दें कि, महाकाल लोक की इस घटना ने बाद से ही मध्यप्रदेश में राजनीति शुरू हो गई है। कांग्रेस को बीजेपी सरकार पर निशाना साधने का मौका मिल गया है। राज्य के मुख्य विपक्षी दलों ने परियोजना में भ्रष्टाचार का आरोप लगाया है। मूर्तियों के क्षतिग्रस्त होने के मामले में पीसीसी चीफ कमलनाथ ने जांच कमेटी का गठन किया। कमेटी जल्द ही उज्जैन जाकर पूरी घटना की रिपोर्ट कमलनाथ के सामने रखेगी।